By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Sep 28, 2018
नई दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने कोरेगांव-भीमा हिंसा मामले के सिलसिले में पांच कार्यकर्ताओं की गिरफ्तारी के संबंध में हस्तक्षेप करने से शुक्रवार को इंकार कर दिया। यही नहीं, न्यायालय ने उनकी गिरफ्तारी की जांच के लिए विशेष जांच दल के गठन से भी इंकार कर दिया है। प्रधान न्यायाधीश दीपक मिश्रा की अध्यक्षता वाली तीन सदस्यीय पीठ ने 2:1 के बहुमत के फैसले में इन कार्यकर्ताओं की तुरंत रिहाई की मांग करने वाली याचिका को ठुकरा दिया।
न्यायमूर्ति ए एम खानविलकर ने प्रधान न्यायाधीश दीपक मिश्रा और अपनी ओर से बहुमत का निर्णय सुनाया जबकि न्यायमूर्ति धनन्जय वाई चन्द्रचूड़ ने इससे असहमति व्यक्त करते हुये अलग फैसला सुनाया। प्रमुख इतिहासकार रोमिला थापर और कुछ अन्य लोगों ने इन गिरफ्तारियों को चुनौती दी थी।