By अनन्या मिश्रा | Aug 27, 2025
हिंदी फिल्म उद्योग के सबसे लोकप्रिय और पार्श्व गायकों में से एक रहे मुकेश का 27 अगस्त को निधन हो गया था। मुकेश द्वारा गाए गीत लोग आज भी गुनगुनाना पसंद करते हैं। उन्होंने अपने जमाने के कई दिग्गज कलाकारों को आवाज दी थी। जिनमें से मनोज कुमार, राज कपूर, सुनील दत्त, फिरोज खान और दिलीप शामिल हैं। मुकेश एक पार्श्व गायक थे। तो आइए जानते हैं उनकी डेथ एनिवर्सरी के मौके पर सिंगर मुकेश के जीवन से जुड़ी कुछ रोचक बातों के बारे में...
मुकेश का जन्म 22 जुलाई 1923 को हुआ था। उनका पूरा नाम मुकेश चंद माथुर था। इनके पिता जोरावर चंद माथुर एक इंजीनियर थे। संगीत शिक्षक मुकेश की बहन सुंदर प्यारी को पढ़ाने के लिए घर आते थे। लेकिन उनको मुकेश में अपना शिष्य मिला। मुकेश ने 10वीं के बाद अपनी पढ़ाई छोड़ दी और दिल्ली जाकर नौकरी करने लगे। इस दौरान वह वॉइस रिकॉर्डिंग का भी प्रयास करने लगे और धीरे-धीरे अपनी गायन क्षमता को विकसित किया।
एक्टर और प्रडोड्यूसर मोतीलाल ने सबसे पहले मुकेश की आवाज पर ध्यान दिया था। जिसके बाद मोतीलाल ने मुकेश को पंडित जगन्नाथ प्रसाद से गायन की शिक्षा दिलवाई। फिर साल 1941 में आई फिल्म 'निर्दोष' में उनको पहला गाना 'दिल ही बुझा हुआ हो तो' गाने का मौका मिला। बतौर पार्श्वगायक यह मुकेश का पहला हिट गाना था। फिर साल 1945 में उन्होंने फिल्म 'पहली नजर' में गाना 'दिल जलता है तो जलने दो' गाया था।
वैसे तो मुकेश ने अपने जमाने के सभी लीड एक्टर्स के लिए गाने गाए हैं। लेकिन उन्होंने सबसे ज्यादा गाने शोमैन राज कपूर के लिए गाए हैं। इनमें से 'जीना यहां मरना यहां', 'दुनिया बनाने वाले', 'आवारा हूं', 'दोस्त-दोस्त ना रहा', 'सजन रे झूठ मत बोलो', 'कहता है जोकर' और 'मेरा जूता है जापानी' सहित अनेक गाने शामिल हैं।
जब सिंगर मुकेश यूएस टूर पर थे, तो 27 अगस्त 1976 को 53 साल की उम्र में हार्ट अटैक से उनका निधन हो गया था। इस दौरान वह सिंगर करियर में पीक पर थे।