By रितिका कमठान | May 07, 2025
ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारत द्वारा पाकिस्तान और पाक अधिकृत कश्मीर में कम से कम नौ आतंकवादी स्थलों को निशाना बनाए जाने के बाद, विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने विंग कमांडर व्योमिका सिंह और कर्नल सोफिया कुरैशी के साथ मीडिया को संबोधित किया। इस आधिकारिक ब्रीफिंग में दो महिला अधिकारियों की उपस्थिति एक शक्तिशाली और प्रतीकात्मक क्षण था।
भारत के ‘ऑपरेशन सिंदूर’ पर बुधवार को संवाददाताओं को जानकारी देने वाली विंग कमांडर व्योमिका सिंह अब चर्चा में आ गई है। एयरफोर्ट में व्योमिका एक कुशल हेलीकॉप्टर पायलट हैं। अपने करियर में वो कई तरह के विमान उड़ा चुकी है। कई जटिल और गंभीर स्थितियों में वो नागरिकों को सुरक्षित निकालने के अभियानों का हिस्सा रह चुकी है।
एक बार एक इंटरव्यू में उन्होंने कहा था कि उनका नाम उनके पायलट बनने की यात्रा में मददगार साबित हुआ था। व्योमिका के पति भी भारतीय वायु सेना में पायलट हैं। बता दें कि भारत के सशस्त्र बलों ने पहलगाम आतंकी हमले के जवाब में मंगलवार देर रात पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (पीओके) में नौ आतंकी ठिकानों पर मिसाइल से हमले किए है। इन हमलों में जैश-ए-मोहम्मद का गढ़ बहावलपुर और लश्कर-ए-तैयबा का अड्डा मुरीद के ठिकानों को नेस्तेनाबूत कर दिया गया है। ऑपरेशन सिंदूर जम्मू कश्मीर के पहलगाम में 26 लोगों की हत्या के दो सप्ताह बाद हुआ है, जिसमें सैन्य हमले हुए है। व्योमिका के पति भी भारतीय वायु सेना में पायलट हैं।
पायलट बनने की कहानी व्योमिका की जुबानी
व्योमिका ने बताया, ‘‘मैं कक्षा-6 में थी तभी एक ‘यूरेका’ क्षण आया। इस पल में मुझे ये लगा कि मैं पायलट बनना चाहती हूं। आसमान में उड़ान भरना चाहती हूं। उसी दौरान हम क्लास में नाम के अर्थ को लेकर चर्चा कर रहे थे। किसी ने कहा तुम्हारा नाम व्योमिका है और व्योम का अर्थ आकाश होता है। ये ही वो पल था जब मैंने तय किया था कि मैं पायलट बनना चाहती थी। यह 1990 के दशक की शुरुआत की बात है।’’
बता दें कि ये चर्चा उस समय नारी शक्ति’ के विषय पर हुई थी। व्योमिका ने बताया था कि वो एयरफोर्स में शामिल होने और पायलट बनने को लेकर उत्साहित थी। व्योमिका ने ना सिर्फ छोटी उम्र में पायलट बनने का सपना देखा था बल्कि उन्होंने 2,500 से अधिक उड़ान घंटे भी सफलतापूर्वक पूरे किए है।
व्योमिका ने देश के कुछ सबसे चुनौतीपूर्ण इलाकों में कई हेलीकॉप्टरों का परिचालन किया है। इनमें जम्मू कश्मीर के ऊंचाई वाले क्षेत्रों से लेकर पूर्वोत्तर के दूरदराज के इलाके शामिल हैं। साल 2020 में उन्होंने अरुणाचल प्रदेश में एक बचाव अभियान का नेतृत्व किया और नागरिकों को बचाने के लिए अत्यंत कठिन परिस्थितियों में उड़ान भरी। वायु सेना अधिकारी ने निजी चैनल को बताया था, ‘‘यह (वायु सेना में) एक शानदार अनुभव रहा है और मुझे यह बहुत पसंद है।