By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Apr 25, 2020
इस सप्ताह के सामाजिक और राजनीतिक मुद्दों की बात करें तो कोरोना वायरस से जुड़े मुद्दे देश और दुनिया में छाये रहे। लॉकडाउन से लोगों की समस्याएं बढ़ीं तो केंद्र और राज्य सरकारों ने लोगों को कुछ राहतें प्रदान कीं लेकिन असल समस्या प्रवासी श्रमिकों की बनी हुई है जो अलग-अलग राज्यों में खुद को फँसा हुआ महसूस कर रहे हैं और जल्द से जल्द अपने-अपने गृहराज्यों में लौट जाना चाहते हैं।
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इसके अलावा पालघर में दो साधुओं और उनके ड्राइवर की मॉब लिंचिंग ने देश को झकझोर कर रख दिया। हालांकि महाराष्ट्र सरकार ने मामले की जांच राज्य सीआईडी को सौंप दी है लेकिन संत समाज राज्य की पुलिस पर विश्वास करने को राजी नहीं है इसीलिए केंद्र सरकार से माँग की जा रही है कि इस निर्मम हत्याकांड की सीबीआई से जाँच कराई जाये। इस मुद्दे पर आरोप-प्रत्यारोप की राजनीति भी जमकर हो रही है।
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उधर, यह सप्ताह राजनीतिक रूप से भी काफी सुर्खियों में रहा क्योंकि केंद्रीय दल का कुछ राज्यों में कोविड-19 की स्थिति को संभालने के लिए जाना पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री को रास नहीं आया। इसके साथ ही बंगाल में राज्यपाल और मुख्यमंत्री के बीच भी काफी विवाद देखने को मिला। यही नहीं कांग्रेस ने भी राजनीतिक एकता तोड़ते हुए केंद्र सरकार पर नफरत का वायरस फैलाने का आरोप लगाते हुए कहा कि सरकार कोरोना वायरस से लड़ने के लिए आंशिक कदम ही उठा रही है। कोटा से छात्रों को वापस बुलाने का मुद्दा भी विभिन्न राज्यों की सरकारों को परेशान करता रहा।