छत्तीसगढ़ में कार्यकर्ताओं से विचार करने के बाद दिए जाएंगे टिकट: राहुल गांधी

By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | May 19, 2018

दुर्ग। छत्तीसगढ़ में इस साल के अंत में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा कि कार्यकर्ताओं से सलाह लेकर ही उम्मीदवारी के टिकट दिये जाएंगे और बाहर से आने वालों को तवज्जो नहीं दी जाएगी। कांग्रेस अध्यक्ष ने कर्नाटक के घटनाक्रम पर भी असंतोष जताते हुए कहा कि कर्नाटक में भाजपा को सरकार बनाने का मौका दिया गया लेकिन कांग्रेस को गोवा और मणिपुर में यह मौका नहीं दिया गया।

राहुल ने यहां एक कार्यकर्ता सम्मेलन में कहा कि राज्य में होने वाले चुनावों में कार्यकर्ताओं से सलाह लेने के बाद ही टिकट बांटे जाएंगे। उन्होंने कार्यकर्ताओं से कहा कि केवल कांग्रेस विचारधारा वाले लोगों को ही टिकट दिया जाएगा और कार्यकर्ताओं से चर्चा करने के बाद ही इसे अंतिम रूप दिया जाएगा। उन लोगों को टिकट नहीं दिया जाएगा जो अपने स्वार्थ के लिए दूसरी पार्टी छोड़कर कांग्रेस में शामिल हो गए हैं।

​कांग्रेस अध्यक्ष ने पार्टी को एक परिवार बताया और कहा कि पिछले कुछ समय से पार्टी में एक कमी आई है कि परिवार का ख्याल परिवार की तरह नहीं रखा गया। अब मै इस प्र​वृत्ति को बदलने जा रहा हूं। यदि किसी भी वरिष्ठ नेता द्वारा पार्टी के कार्यकर्ता का अपमान किया जाता है तो मै संबंधित नेता के खिलाफ कार्रवाई करूंगा। 

उन्होंने कहा कि कार्यकर्ता पार्टी का मेरुदंड है और उनके समर्थन के बगैर हम छत्तीसगढ़ में जीत हासिल नहीं कर सकते हैं। पार्टी के नेता, कार्यकर्ताओं की गरिमा की रक्षा करें और उन्हें सम्मान दें।

 

राहुल ने कर्नाटक के घटनाक्रम पर असंतोष जताते हुए कहा कि कर्नाटक में भाजपा को सरकार बनाने का मौका दिया गया लेकिन कांग्रेस को गोवा और मणिपुर में यह मौका नहीं दिया गया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस कार्यकर्ता देश और प्रदेश की जनता को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘खोखले वादों’ के बारे में बताएं। कांग्रेस अध्यक्ष ने चुनाव में इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीन के इस्तेमाल के सवाल पर कहा कि कांग्रेस नियमों से चुनाव लड़ती है लेकिन बीजेपी नहीं लड़ती है। काफी लोगों को लगता है कि चुनाव में बदलाव आना चाहिए, अब फिर से मतपत्रों से चुनाव होने चाहिए।

 

उन्होंने कहा कि लेकिन इससे बड़ा गंभीर मामला और भी है। देश में पहली बार उच्चतम न्यायालय के चार न्यायाधीश जनता के सामने आए और उन्होंने जनता से न्याय मांगा। राहुल ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ पर निशाना साधते हुए कहा कि संघ का हर संस्था पर दबाव है। वे हर संस्था पर कब्जा करना चाहते हैं। यह विचारधारा की लड़ाई है। हमें आरएसएस की विचारधारा से लड़ना है।

 

उन्होंने आरोप लगाया कि पूरे देश में आरएसएस के लोग एक व्यक्ति को दूसरे व्यक्ति से लड़ा रहे हैं और 15—20 अमीर लोगों के लिए यह सरकार चल रही है। कांग्रेस अध्यक्ष ने संघ पर महिलाओं को महत्व नहीं देने का आरोप लगाते हुए कहा कि उसकी शाखा में महिलाएं क्यों नहीं दिखती हैं। उन्होंने कहा कि राज्य में पार्टी के घोषणापत्र के लिए कार्यकर्ताओं से सलाह ली जा रही है। वहीं युवाओं, महिलाओं और छोटे दुकानदारों से भी बात की जा रही है।

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