चीन के साथ समझौता भंग होने वाली खबर झूठी और बेबुनियाद, पीपुल्स लिबरेशन आर्मी की गतिविधियों पर है भारतीय सेना की नजर

By अभिनय आकाश | Jul 15, 2021

एलएसी पर चीन अपनी हरकतों से बाज नहीं आता। एक तरफ चीन भारत को ये भरोसा दिलता है कि सीमा के मुद्दे बातचीत के जरिये हल होंगे। वहीं दूसरी तरफ वो अपनी चालबाजी दिखाना शुरू कर देता है। ऐसा कोई पहली बार नहीं है और तुम मुझ पर भरोसा करो मैं तुम्हें दगा दूंगा वाली फितरत चीन की हमेशा से रही है। भारतीय सेना ने कहा कि भारतीय या चीनी पक्ष ने पूर्वी लद्दाख के उन इलाकों पर कब्जा करने की कोई कोशिश नहीं की है, जैसा कि मीडिया रिपोर्ट में बताया गया है। भारतीय  सेना की तरफ से कहा गया है कि जहां से वे फरवरी में पीछे हटे थे और क्षेत्र में टकराव के शेष मामलों को सुलझाने के लिए दोनों पक्ष वार्ता कर रहे हैं। 

पीएलए की हर हरकत पर नजर 

भारतीय थलसेना बलों की संख्या समेत पीएलए की गतिविधियों पर नजर रख रही है। सेना ने कहा कि वह चीन की सेना पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) की गतिविधियों की निगरानी कर रही है। हम इस क्षेत्र में चीनी सैनिकों की आवाजाही पर भी नजर रखे हुए हैं। 

झड़प संबंधी खबर झूठी और बेबुनियाद

भारतीय थलसेना ने झड़प संबंधी खबर को गलत बताते हुए कहा कि गलवान या किसी अन्य क्षेत्र में कोई झड़प नहीं हुई है। थलसेना ने कहा कि खबर में चीन के साथ हुए समझौतों के विफल होने की बात कही गई है, जो ‘‘झूठी और बेबुनियाद’’ है। उसने कहा कि दोनों पक्ष शेष मामलों को सुलझाने के लिए वार्ता कर रहे हैं और संबंधित क्षेत्रों में नियमित गश्त जारी है। स्थिति पूर्ववत बनी हुई है।  

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