By अनन्या मिश्रा | Aug 09, 2025
आज ही के दिन यानी की 09 अगस्त 1945 को अमेरिका ने जापान के शहर नागासाकी पर दूसरा परमाणु हमला किया था। इस हमले में लाखों निर्दोष लोगों की जान चली गई थी। बता दें कि यह धमाका इतना भयानक था कि परमाणु हमले के धमाके की आवाज से लोग बहरे हो गए थे और तेज रोशनी के कारण लोग अंधे हो गए थे। इस धमाके से उत्पन्न होने वाली गर्मी के कारण लोगों की चमड़ी पिघल गई थी। नागासाकी हमले को आज 80 साल पूरे हो चुके हैं।
यह हमला इतना दर्दनाक और घातक था कि इसका अंदाजा आप इस बात से लगा सकते हैं कि हमले में हजारों लोगों की तत्काल मौत हो गई थी। वहीं अन्य जो इस हमले के संपर्क में आए, उनकी मौत 2-3 महीने के अंदर हो गई। वहीं साल के अंत तक इन बमबारी में करीब 2 लाख लोग मौत के मुंह से समा गए थे।
बता दें कि नागासाकी क्यूशू के पश्चिमी तट पर एक औद्योगिक केंद्र और प्रमुख बंदरगाह था। हिरोशिमा की तरह सुबह-सुबह हवाई हमले की चेतावनी साफ हो गई थी। जिस कारण 01 अगस्त को नागासाकी पर छोटे हमले से शहर के कुछ हिस्सों को खाली करना पड़ा था। वहीं जब 09 अगस्त को बम फटा तो शहर में करीब 2,00,000 लोग मौजूद थे। जल्दबाजी में किए गए इस हमले में शहर के दो प्रमुख ठिकानों दक्षिण में मित्सुबिशी स्टील एंड आर्म्स वर्क्स और उत्तर में मित्सुबिशी-उराकामी टॉरपीडो वर्क्स के ठीक बीच को निशाना बनाया गया।
बताया जाता है कि हिरोशिमा में गिए लिटिल बॉय से नागासाकी में गिराए गए परमाणु बम 'फैटमैन' का धमाका अधिक तेज था। हालांकि नागासाकी में हिरोशिमा जितना नुकसान नहीं हुआ था। ऐसा इसलिए क्योंकि नागासाकी के आसपास पहाड़ियां हैं। जिस कारण बम का विस्फोट से गर्मी और रेडिएशन का प्रभाव कम हुआ।