By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Apr 10, 2021
पूर्वी पाकिस्तान से संबंध रखने वाला मतुआ समुदाय हिंदुओं का पिछड़ा तबका है, जिसने विभाजन और बांग्लादेश की स्थापना के बाद भारत में प्रवास किया था। राज्य में मतुआ समुदाय के लोगों की आबादी 30 लाख के करीब है, जो बांग्लादेश सीमा से लगे नदिया और उत्तर तथा दक्षिण 24 परगना जिलों में 30 से अधिक विधानसभा क्षेत्रों में चुनाव का रुख किसी भी पार्टी के पक्ष में मोड़ सकती है। एक समय यह समुदाय टीएमसी का समर्थन करता था लेकिन 2019 के लोकसभा चुनाव के दौरान इसने भाजपा का समर्थन किया। भाजपा का कहना है कि यदि वह सत्ता में आई तो उन्हें नागरिकता प्रदान की जाएगी। बनर्जी ने बदुरिया में कहा, यदि आपके (मतुआ) बच्चे शिक्षण संस्थानों में पढ़ते हैं। यदि आपके नाम और पते पर बिजली और टेलीफोन के कनेक्शन हैं, तो आप पहले से ही नागरिक हैं। भाजपा आपको दोबारा नागरिकता देने का वादा कैसे कर सकती है? उन्होंने कहा कि उनकी सरकार ने मतुआ समुदाय के आध्यात्मिक गुरु हरिचंद ठाकुर के जन्मदिन को अवकाश घोषित किया है, लेकिन भगवा पार्टी ने अपने शासन वाले राज्यों में ऐसा नहीं किया है।
टीएमसी प्रमुख ने कहा कि भाजपा पिछड़े समुदाय के वोट हासिल करने के लिये घड़ियाली आंसू बहा रही है। बीजपुर में एक अन्य रैली में उन्होंने प्रत्येक दुर्गा पूजा समितियों को दिये जाने वाले भत्तों और पुजारियों तथा इमामों के दिये जाने वाले वजीफे का जिक्र किया। बनर्जी ने कहा, हम भेदभाव नहीं करते। हम हर समुदाय का खयाल रखते हैं। भाजपा की तरह नहीं, जो केवल टकराव के बीज बोती है। बनर्जी ने भाजपा पर राज्य के लोगों को हिरासत शिविरों में रखने की साजिश रचने का आरोप लगाते हुए कहा, यदि आप असम के 14 लाख बंगालियों जैसी किस्मत नहीं चाहते हैं। यदि आप नहीं चाहते कि एनपीआर (राष्ट्रीय जनसंख्या पंजी) कवायद के बाद आपके नाम मतदाता सूची से हटाए जाएं, तो भाजपा को सत्ता में आने से रोकिये। उन्होंने कहा कि टीएमसी ही भाजपा को पश्चिम बंगाल में सत्ता में आने से रोक सकती है। हिंगलगंज में बनर्जी ने वादा किया कि उनकी सरकार भविष्य में सुंदरबन का परिसीमन करके नया जिला बनायेगी।