हिमंत बिस्व सरमा बोले- अगर गांधी परिवार का नेतृत्व जारी रहा तो बर्बाद हो जाएगी कांग्रेस

By अंकित सिंह | Mar 14, 2022

पांच राज्यों में कांग्रेस को मिली करारी हार के बाद एक बार फिर से गांधी परिवार निशाने पर है। नेहरू गांधी परिवार पर फिर से सवाल उठने लगे है। इन सबके बीच रविवार को कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक बुलाई गई थी। इस बैठक में कांग्रेस की हार पर चर्चा हुई और साथ ही साथ आगे की रणनीति पर भी सहमति बनी। इन सबके बीच इसी बैठक से यह खबर भी निकली कि सोनिया गांधी फिलहाल कांग्रेस के अध्यक्ष बनी रहेंगी। हालांकि सूत्रों ने यह भी दावा किया कि सोनिया गांधी ने राहुल गांधी और प्रियंका गांधी के साथ सीडब्ल्यूसी के समक्ष अपना इस्तीफा भी पेश किया। हालांकि उसे सीडब्ल्यूसी ने खारिज कर दिया। इसके बाद सीडब्ल्यूसी की बैठक में शामिल नेताओं ने सोनिया गांधी पर भरोसा जताते हुए कहा कि कांग्रेस को मजबूत बनाने के लिए जरूरी बदलाव करें जिस पर कांग्रेस अध्यक्षा ने अपनी सहमति जता दी। हालांकि कांग्रेस की इस बैठक के बाद भाजपा ने उस पर तंज कसना शुरू कर दिया है। सवाल यह भी उठ रहे हैं कि हार के बाद हार मिलने के बावजूद कांग्रेस गांधी परिवार के अलावा सोचने को तैयार क्यों नहीं है? इन सबके बीच असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा का बड़ा बयान सामने आया है। हिमंत बिस्व सरमा  ने दावा किया कि अगर गांधी नेहरू परिवार कांग्रेस पार्टी का नेतृत्व करता रहा तो एक दिन कांग्रेस पूरी तरीके से बर्बाद हो जाएगी और पंचायत चुनाव में भी नजर नहीं। आएगी आपको बता दें कि हिमंत बिस्व सरमा भी कभी कांग्रेस के बड़े नेता रहे हैं। हालांकि उन्होंने पार्टी बदली और भाजपा में शामिल हो गए। वर्तमान में वह असम के मुख्यमंत्री हैं। हिमंत बिस्वा सरमा 2013 में कांग्रेस से भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) में शामिल हुए थे। सरमा ने कहा कि मैं कांग्रेस पार्टी के आंतरिक मामलों पर टिप्पणी नहीं करना चाहता लेकिन लगातार चुनावी हार ने साबित कर दिया है कि ये गांधी परिवार कांग्रेस को जीत की ओर नहीं ले जा सकते। यहां तक ​​कि कांग्रेस आम चुनावों में भी दिखाई नहीं देगी

 

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उन्होंने कहा कि इसलिए मेरे विचार से, गांधी परिवार कांग्रेस को उस स्थिति में ले जाएगा जहां आने वाले दिनों में पंचायत चुनावों में भी यह दिखाई नहीं देगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि यह कांग्रेस पार्टी को तय करना है कि वह सफलता की ऊंचाईयों पर जाना चाहती है या गांधी परिवार के नेतृत्व में नीचे जाना चाहती है। सीडब्ल्यूसी में शामिल नेताओं ने सोनिया गांधी से यह भी कहा कि वह कांग्रेस को मजबूत बनाने के लिए जरूरी बदलाव करें और सुधारात्मक कदम उठाएं। सोनिया गांधी की अध्यक्षता में करीब साढ़े चार घंटे तक हुई सीडब्ल्यूसी की बैठक में यह फैसला भी किया गया कि संसद का बजट सत्र संपन्न होने के तत्काल बाद एक ‘चिंतन शिविर’ का आयोजन किया जाएगा जिसमें आगे की रणनीति तय की जाएगी। 

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