आर्थिक विषयों पर श्री बी.जे. माहेश्वरी की सलाह

By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Apr 02, 2016

विशेषज्ञ की सलाह कॉलम में इस सप्ताह प्रस्तुत हैं आर्थिक विशेषज्ञ की सलाह। हमें पाठकों की ओर से बहुत-से प्रश्न मिले जिनमें अधिकांश एक जैसे थे। हमने दस ऐसे प्रश्नों को छांटा है जोकि सर्वाधिक मिलते जुलते लगे। पाठकों के प्रश्नों का उत्तर दे रहे हैं द्वारिकेश शुगर इंडस्ट्रीज लिमिटेड के पूर्णकालिक निदेशक व कंपनी सचिव श्री बी.जे. माहेश्वरी जी। श्री माहेश्वरी पिछले 32 वर्षों से कंपनी कानून मामलों, कर (प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष) आदि मामलों को देखते रहे हैं। यदि आपके मन में भी आर्थिक विषयों से जुड़े प्रश्न हों तो उन्हें edit@prabhasakshi.com पर भेज सकते हैं। कॉलम के अगले अंक में आपके प्रश्नों का उत्तर देने का प्रयास रहेगा।

 

प्र. वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा है कि सरकार कार्पोरेट कर 25 प्रतिशत पर लाने का प्रयास कर रही है अभी अन्य देशों में यह 30 प्रतिशत है। इससे क्या आशय है? (रिद्धिमा, दिल्ली)

 

उत्तर. वित्त मंत्री ने वित्त विधेयक 2016 में कार्पोरेट कर की दर को 25 प्रतिशत पर लाने की बात कही है। जिसका आशय है कि हर साल आने वाले कुछ वर्षों में आयकर में कोई छूट या राहत धीरे-धीरे कम कर दी जाएगी व साथ-साथ कर की दर भी कम की जायेगी। इससे आयकर का सरलीकरण होगा।

 

प्र. मैं हमारी पैतृक संपत्ति पर लोन लेना चाहता हूँ, क्या इसके लिए मुझे अपने भाइयों से सहमति लेना आवश्यक है? (विकास शर्मा, जयपुर)

 

उत्तर. पैतृक संपत्ति में सभी भाइयों का बराबर का हक होता है। आपको पहले देखना होगा कि क्या कोई वसीयत बनी है यदि हाँ तो वसीयत की शर्तों का ध्यान में रखते हुए लोन लेने की सलाह दी जा सकती है अन्यथा साधारणतः सभी भाइयों की सहमति पैतृक संपत्ति पर लोन लेने के लिए आवश्यक होगी।

 

प्र. मुझे हाल ही में एक बैंक के पत्र के जरिये पता चला कि मेरे रिश्तेदार ने मुझे बिना बताए बैंक लोन में गारंटर बना दिया और अब वह ईएमआई का भुगतान नहीं कर रहा है। बैंक ने मुझे इस बात की जानकारी देते हुए पत्र भेजा है क्या मुझ पर भी कार्रवाई की जाएगी? (संजीव अग्रवाल, दिल्ली)

 

उत्तर. अगर किसी रिश्तेदार ने आपको बिना बताये गारंटर बना दिया है जिसमें आपकी लिखित सहमति नहीं है, तो ऐसी स्थिति में आप बैंक को सूचित कर अपनी जिम्मेदारी पर प्रश्न उठा सकते हैं। यदि आपकी सहमति गारंटर के रूप में लिखित दी गई है तो आप पर बैंक का ऋण चुकाने की जिम्मेदारी बनती है।

 

प्र. कोई भी लोन देते समय बैंक दो तीन लोगों का रेफरेंस मांगते हैं और बाद में उन लोगों से पूछते भी हैं कि ऋण लेने के लिए आवेदन करने वाले को कब से जानते हैं। इस संबंध में मेरा प्रश्न यह है कि क्या यदि लोन लेने वाला भुगतान में गड़बड़ी करे तो उसे पहचानने की पुष्टि करने वालों पर भी कोई कार्रवाई हो सकती है? (संजीव पांडे, गाजियाबाद)

 

उत्तर. मेरे विचार में बैंक संदर्भ देने वाले लोगों के विरुद्ध भुगतान न आने की स्थिति में कोई कार्रवाई नहीं कर सकते है बशर्ते कि वह गारंटर के तौर पर दर्ज न हो।

 

प्र. मैंने एक निजी बैंक से होम लोन ले रखा है। जब भी आरबीआई ब्याज दरें कम करता है तो मेरा बैंक ब्याज दर कम होने का लाभ सिर्फ नये ग्राहकों को देता है। मैंने इसके बारे में जब बैंक से बात की तो मुझे बताया गया कि मैं एक निश्चित फीस देकर कम ब्याज दर पर स्विच कर सकता हूँ। क्या पुराने ग्राहकों को लाभ नहीं देने पर बैंक के खिलाफ शिकायत की जा सकती है? (सौरभ गुप्ता, इटरासी)

 

उत्तर. बैंकों का यह आम तरीका है जब भी बैंक लोन की दरों में कटौती होती है तो राहत नये ग्राहकों को दी जाती है। इस स्थिति में आपको लोन एग्रीमेंट का अवलोकन करना होगा कि उसमें फिक्स रेट ऑफ इंटरेस्ट या फलेक्सी रेट ऑफ इंटरेस्ट का प्रावधान है या नहीं। यदि फलेक्सी रेट का प्रावधान है तो जब भी बैंक ब्याज दर में कटौती की घोषणा करे तो आप बैंक से खुद के लिए भी राहत की मांग कर सकते हैं।

 

प्र. मुझे मेरे पिताजी और ससुराल की तरफ से कुछ प्रापर्टी उपहार स्वरूप मिली है क्या मुझे आयकर दाखिल करते समय इसे दर्शाना होगा? (शेषनाथ तिवारी, गोरखपुर)

 

उत्तर. अगर आपको कोई संपत्ति आपके अपने पिता या ससुराल से उपहार के स्वरूप में मिलती है उसे अपने आयकर रिटर्न में दिखाना अनिवार्य है। इस उपहार पर कोई उपहार कर या आयकर नहीं देना होगा।

 

प्र. मैं अपने डिपार्टमेंटल स्टोर का विस्तार कर रहा हूं और कम्प्यूराइज बिल शुरू करने जा रहा हूं। मुझे बताया गया कि सॉफ्टवेयर अपने आप वैट की गणना करके बिल में जोड़ देगा। मेरा प्रश्न यह है कि जब मैं विभाग के पास वैट जमा कराउंगा तो कहीं मुझसे पुराना हिसाब तो नहीं मांगा जाएगा। (दिलीप चौहान, बलरामपुर)

 

उत्तर. हर व्यक्ति जो बिजनेस में है और एक निश्चित सीमा से ऊपर व्यवसाय करता है उसे वैट एकत्रित करके जमा कराना अनिवार्य है। आजकल ट्रेड टैक्स आफिस के पास वैट रिर्टन की जानकारी रहती है। अगर आपने पहले कभी वैट जमा नहीं कराया है तो विभाग की तरफ से नोटिस भी आ सकता है।

 

प्र. अपना सिबिल स्कोर सुधारने के लिए मुझे क्या करना चाहिए? हाउसिंग लोन लेने के लिए कम से कम कितना सिबिल स्कोर होना चाहिए? (नितिशा, मुंबई)

 

उत्तर. सिबिल स्कोर से आपकी क्रेडिट रेटिंग पता चलती है। जरूरी है कि आपने जो लोन लिया है उस पर ब्याज व किस्त समय से देते रहें जिससे कि आपका रिकार्ड बढ़िया बना रहे।

 

प्र. शेयरों आदि से होने वाली आय के बारे में मैं अब आयकर दाखिल करते समय बताना चाहता हूं। क्या मुझे पिछले वर्षों में शेयरों से हुई आय का भी ब्योरा देना होगा? (सुधांशु शर्मा, नोएडा)

 

उत्तर. आप किसी एक साल से अपना आयकर रिटर्न दाखिल करना शुरू कर सकते हैं। अगर पिछले वर्षों में भी आपकी आय टैक्स छूट की सीमा से अधिक है तो आपको पिछले साल के आयकर का ब्यौरा भी भरना होगा।

 

प्र. बच्चे के स्कूल में दाखिले के समय दी जाने वाली राशि पर भी क्या कोई आयकर छूट मिलती है? (रश्मि, दिल्ली)

 

उत्तर. स्कूल में बच्चों के ट्यूशन फीस पर ही आयकर में छूट मिलती है। स्कूल के दाखिले के समय दी गई राशि पर कोई छूट नहीं मिलती है।

 

नोटः कर से जुड़े हर मामले चूँकि भिन्न प्रकार के होते हैं इसलिए संभव है यहाँ दी गयी जानकारी आपके मामले में सटीक नहीं हो इसलिए अपने विशेषज्ञ की सलाह भी ले लें।

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