प्रकाश पर्व को लेकर पीएम मोदी ने की बैठक, कहा- नई पीढ़ी को भी गुरु तेग बहादुर जी को समझना जरूरी

By अंकित सिंह | Apr 08, 2021

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए श्री गुरु तेग बहादुर जी के 400वें प्रकाश पर्व मनाने के लिए उच्च स्तरीय समिति के बैठक की अध्यक्षता की। इस बैठक में पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, गृह मंत्री अमित शाह, पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, केंद्रिय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर, हरदीप पुरी जैसे वरिष्ठ नेता मौजूद रहे। न्यूज़ एजेंसी एएनआई के मुताबिक प्रधानमंत्री ने कहा कि बीती चार शताब्दियों में भारत का कोई भी कालखंड, कोई भी दौर ऐसा नहीं रहा जिसकी कल्पना हम गुरु तेगबहादुर जी के प्रभाव के बिना कर सकते हों! नवम गुरु के तौर पर हम सभी उनसे प्रेरणा पाते हैं। मोदी ने कहा कि पूरे देश में 400वें प्रकाश पर्व पर साल भर आयोजन होने चाहिए और हमें विश्व में भी अधिकतम लोगों तक पहुंचने का प्रयास करना चाहिए। सिख परंपरा से जुड़े तीर्थ स्थान और श्रद्धा स्थल इन गतिविधियों को और ऊर्जा देंगे। इस पूरे आयोजन में हमें गुरु तेग बहादुर जी के जीवन और शिक्षा के साथ ही समूची गुरु परंपरा को भी विश्व तक लेकर जाना चाहिए। पूरा विश्व अगर जीवन की सार्थकता को समझना चाहे तो गुरुओं के जीवन को देखकर आसानी से समझ भी सकता है। उनके जीवन में त्याग भी था, तितिक्षा भी थी। उनके जीवन में ज्ञान भी प्रकाश भी था, आध्यात्मिक ऊंचाई भी थी।

 

इसे भी पढ़ें: कोविड-19 की स्थिति पर चर्चा के लिए PM मोदी संग CMs की बैठक, ममता बनर्जी नहीं होंगी शामिल


मोदी ने कहा कि देश की नई पीढ़ी को भी गुरुतेगबहादुर जी को समझना जरूरी है। गुरु नानक जी से लेकर गुरुतेगबहादुर जी और गुरु गोबिंद सिंह जी तक हमारी सिख गुरु परंपरा अपने आप में सम्पूर्ण जीवन दर्शन रही है। गुरु तेगबहादुर जी के 400वें प्रकाश पर्व का अवसर आध्यात्मिक सौभाग्य भी है और राष्ट्रीय कर्तव्य भी है। इसमें हम अपना कुछ योगदान दे सकें, ये गुरु कृपा हम सब पर हुई है।

प्रमुख खबरें

जम्मू-कश्मीर के कुलगाम में सुरक्षाबलों की बड़ी कामयाब, लश्कर के टॉप कमांडर बासित अहमद डार समेत तीन आतंकी ढेर

TMC का CEC से अनुरोध, फेज 1-2 के लिए सीट वाइज वोटिंग रिपोर्ट प्रदान किया जाए

कांग्रेस और इंडी गठबंधन को ना हमारी आस्था की परवाह है और ना ही देशहित की, विपक्ष पर बरसे PM Modi

क्या युद्ध के मुहाने पर खड़े हैं रूस-अमेरिका? पश्चिमी देशों के खिलाफ पुतिन का परमाणु अभ्यास