पुराने कांग्रेसी परिवार से आने वाले Randeep Singh Surjewala विधानसभा चुनाव में सीएम पद के लिए कर रहे हैं दावेदारी पेश

By Prabhasakshi News Desk | Sep 11, 2024

हरियाणा विधानसभा चुनाव के लिए कांग्रेस अब तक अपनी दो लिस्ट जारी कर चुकी है। जिसमें भूपेंद्र सिंह हुड्डा के गुट वाले नेताओं को तरजीह दी गई है। लेकिन इस सूची में राजस्थान से पहली बार राज्यसभा सांसद चुने गए हरियाणा कांग्रेस के नेता रणदीप सिंह सुरजेवाला भी अपने नेताओं को जगह दिलवाने की जुगत में लगे हुए हैं। इसके साथ ही उनका हरियाणा की सत्ता संभालने का सपना भी बहुत पुराना है। सुरजेवाला मूलरूप से हरियाणा की राजधानी चंडीगढ़ के रहने वाले हैं। उनका जन्म 3 जून 1967 को किसान खेत मजदूर कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मंत्री चौधरी शमशेर सिंह सुरजेवाला व विद्या देवी के घर हुआ था। 


सुरजेवाला ने अपनी शुरुआती शिक्षा नरवाना के आदर्श बाल मंदिर व आर्य उमावि से पूरी की। डीएवी स्कूल से वाणिज्य में स्नातक व पंजाब विश्वविद्यालय से विधि में स्नातक की डिग्री पाई। जिसके बाद राजनीति विज्ञान में एमए भी किया। हरियाणा के कैथल से विधायक भी रह चुके हैं। इसके अलावा भी वे भूपेंद्र सिंह हुड्डा नीत कांग्रेस सरकार में 2009 से 2014 तक मंत्रिमण्डल के सदस्य रह चुके हैं। वे हरियाणा के सबसे कम आयु के मंत्री रहे हैं। रणदीप सिंह सुरजेवाला को 2005 में केंद्र सरकार में यातायात व संसदीय कार्य मंत्री बनाया गया था। बाद में उनके पास जलापूर्ति , संसदीय कार्य, इलेक्ट्रोनिक व सूचना प्रौद्योगिकी तथा विज्ञान व प्रौद्योगिकी मंत्रालय भी रहे। 2014 के चुनावों में कांग्रेस प्रदेश में तीसरे स्थान पर रही किंतु रणदीप सिंह अपनी सीट जीतने में सफल रहे।


रणदीप सिंह सुरजेवाला के जन्म के समय इनके पिता हरियाणा के कृषि व सहकारिता मंत्री थे। इनकी तीन बड़ी बहनें हैं- मधु दलाल, पूनम चौधरी और नीरू। एक वकील के तौर पर रणदीप ने अपनी प्रैक्टिस 21 वर्ष की आयु में 1988 में दिल्ली की एक वकालत फर्म श्रॉफ एंड कंपनी से शुरू की, जिसे 1991 से पंजाब व हरियाणा उच्च न्यायालय में जारी रखा। सुरजेवाला वर्तमान में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव और राष्ट्रीय प्रवक्ता हैं। उनको 17 वर्ष की आयु में हरियाणा प्रदेश युवा कांग्रेस का जनरल सचिव नियुक्त किया गया था। उन्होंने 6 बार हरियाणा विधान सभा के लिए चुनाव लड़े- 1993 उप चुनाव, 1996, 2000, 2005, 2009 व 2014 में। 1996 और 2005 चुनावों में उन्होंने ओम प्रकाश चौटाला को हराया जो कि तत्कालीन मुख्यमंत्री थे।

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