Special Report: एक साल में कच्चे तेल की कीमतों में हुआ 78% इजाफा, अन्य देशों के मुकाबले भारत में पेट्रोल की कीमत कितनी ज्यादा या कम
कच्चे तेल की कीमत अप्रैल 2021 में 63.4 डॉलर प्रति बैरल से बढ़कर मार्च 2022 में 112.87 डॉलर प्रति बैरल हो गई है। यानी एक साल में इसमें 78 फीसदी का इजाफा देखने को मिला है। ऐसे में आइए जानते हैं कि अन्य देशों के मुकाबले भारत में पेट्रोल और डीजल की कीमत ज्यादा है या कम?
रूस-यूक्रेन के जंग के बीच कच्चे तेल की अंतरराष्ट्रीय कीमतों में बहुत तेजी देखने को मिली है। अमेरिका, कनाडा समेत विकसित देशों में एक साल में पेट्रोल की कीमत 50 प्रतिशत तक बढ़ी है वहीं भारत में भी तेल की कीमतों में इजाफा देखने को मिला है। भारत अपने तेल की जरूरतों की पूर्ति के लिए आयात करता है। भारत में तेल की जरूरतों का करीब 80 फीसदी भाग आयात किया जाता है। ऐसे में वैश्विक कीमतों में तब्दिली और अंतरराष्ट्रीय घटनाओं का भारत की तेल की कीमतों पर असर पड़ना लाजिमी है। कच्चे तेल की कीमत अप्रैल 2021 में 63.4 डॉलर प्रति बैरल से बढ़कर मार्च 2022 में 112.87 डॉलर प्रति बैरल हो गई है। यानी एक साल में इसमें 78 फीसदी का इजाफा देखने को मिला है। ऐसे में आइए जानते हैं कि अन्य देशों के मुकाबले भारत में पेट्रोल और डीजल की कीमत ज्यादा है या कम? इसके साथ ही आपको बताते हैं कि सबसे ज्यादा पेट्रोल-डीजल की कीमत वाले राज्य कौन से हैं।
देश | पेट्रोल की कीमत |
नीदरलैंड | 192.73 |
जर्मनी | 171.37 |
स्वीडन | 167.79 |
स्वीजरलैंड | 160.4 |
सिंगापुर | 159.05 |
इटली | 151.44 |
स्पेन | 148.19 |
फ्रांस | 145.62 |
साउथ कोरिया | 126.74 |
जापान | 104.34 |
भारत | 103.81 |
तुर्की | 98.11 |
(ऐसे देशों की तुलना में जो पेट्रोल के आयात पर ज्यादा निर्भर है, उनमे भारत में तेल की कीमतें तुर्की के बाद सबसे कम है।)
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ब्रिक्स देशों की तुलना में भारत
देश | पेट्रोल | डीजल |
ब्राजील | 118.21 | 108.21 |
चीन | 111.22 | 99.98 |
भारत | 103.81 | 95.07 |
रूस | 46.88 | 47.93 |
साउथ अफ्रीका | 111.69 | 118.90 |
ब्रिक्स देशों में भारत में पेट्रोल और डीजल की कीमतें स्वयं तेल उत्पादन करने वाले रूस के बाद सबसे कम हैं।
उच्चतम पेट्रोल मूल्य वाले शीर्ष 10 राज्य
राज्य | पेट्रोल की कीमत (रुपये प्रति लीटर) (6 अप्रैल, 2022 तक) |
आंध्र प्रदेश | 121.40 |
महाराष्ट्र | 120.51 |
तेलंगाना | 119.49 |
मध्य प्रदेश | 118.14 |
राजस्थान | 118.03 |
केरल | 117.19 |
बिहार | 116.23 |
पश्चिम बंगाल | 115.12 |
ओडिशा | 112.50 |
छत्तीसगढ़ | 111.47 |
उच्चतम डीजल मूल्य वाले शीर्ष 10 राज्य
राज्य | डीजल की कीमत (रुपये प्रति लीटर) (6 अप्रैल, 2022 तक) |
आंध्र प्रदेश | 107.00 |
तेलंगाना | 105.49 |
महाराष्ट्र | 104.77 |
केरल | 103.95 |
छत्तीसगढ़ | 102.86 |
ओडिशा | 102.24 |
झारखंड | 102.02 |
मध्य प्रदेश | 101.16 |
बिहार | 101.06 |
तमिलनाडु | 100.94 |
देश के 10 मे से 8 राज्य जहा पेट्रोल और डीजल की कीमतें सबसे ज्यादा है वो गैर बीजेपी शासित राज्य है।
राज्य जिन्होने पेट्रोल और डीजल पर कर में कटौती नहीं की
7 राज्यों- महाराष्ट्र, पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश, केरल और झारखंड- ने अभी भी अपनी दरों में कटौती नहीं की है। ईंधन पर अपने करों में कटौती न करके, इन राज्यों ने ईंधन करों में कटौती करने वाले अन्य राज्यों की तुलना में लगभग 11,945 करोड़ रुपये की अतिरिक्त कमाई की है। फ्यूल टैक्स से जो केंद्र सरकार ने जो रेवेन्यू कमाया है, उसका केंद्र सरकार ने क्या किया? इस पर केंद्र के खिलाफ सवाल उठाए गए हैं। सरकार ने इस राशि का उपयोग पीएमजीकएवाई, कोविड-19 के लिए मुफ्त वैक्सीन, कोविड-19 के दौरान महिलाओ, बुजुर्गो और दिव्यांगो को फ्री कैश ट्रांसफर करने में किया। पीएमजीकएवाई को मार्च 2022 से सितंबर 2022 तक बढ़ाने से योजना पर केंद्र सरकार का खर्च पहले के 2.6 लाख करोड़ रुपये से बढ़कर लगभग 3.4 लाख करोड़ रुपये हो गया है। तो, जिन राज्यों ने अतिरिक्त 11,945 करोड़ रुपये कमाए हैं, उन्होने अपने राज्य के लोगो के लिए क्या किया है? यह सवाल उनसे पूछा जाना चाहिए।
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