उच्चतम न्यायालय के निर्देश का हदिया के पिता ने स्वागत किया

Hidaya''s father welcomed the Supreme Court directive

केरल की महिला हदिया के पिता ने उच्चतम न्यायालय के उस निर्देश का स्वागत किया जिसमें उसकी बेटी को पढ़ाई जारी रखने की इजाजत दी गयी है।

नयी दिल्ली। केरल की महिला हदिया के पिता ने उच्चतम न्यायालय के उस निर्देश का स्वागत किया जिसमें उसकी बेटी को पढ़ाई जारी रखने की इजाजत दी गयी है। अंतर जातीय विवाह के बारे में जब केएम अशोकन से उनकी राय पूछी गयी तो उन्होंने कहा कि वह एक धर्म और एक ईश्वर में विश्वास रखते हैं लेकिन अपने परिवार का नाता किसी आतंकवादी के साथ नहीं रख सकते।

अशोकन ने कहा,‘‘ हदिया को सीरिया के बारे में कोई जानकारी नहीं है। वह इस्लाम में परिवर्तित होकर वहीं जाना चाहती थी। मैं नहीं चाहता कि मेरे परिवार में कोई आतंकी हो।’’ उच्चतम न्यायालय ने कल कथित ‘लव जिहाद’ की पीड़ित हदिया को उसके अभिभावकों की कैद से रिहा करते हुये उसे होम्योपैथी चिकित्सा पद्धति की कॉलेज में पढ़ाई जारी रखने का निर्देश दिया था। हालांकि हदिया ने अनुरोध किया था कि उसे उसके पति के पास जाने दिया जाए।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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