दूरसंचार में ‘इनपुट क्रेडिट’, जीएसटी के असर का विश्लेषणः सिन्हा
![Analysing impact of GST and input credit in telecom sector Analysing impact of GST and input credit in telecom sector](https://images.prabhasakshi.com/2017/7/_650x_2017071717535182.jpg)
दूरसंचार मंत्री मनोज सिन्हा ने कहा कि संचार मंत्रालय जीएसटी के दूरसंचार ग्राहकों पर असर का विश्लेषण करेगा और अगर कोई ‘वास्तविक परेशानियां’ नजर आती हैं तो वित्त मंत्रालय से संपर्क किया जाएगा।
दूरसंचार मंत्री मनोज सिन्हा ने आज कहा कि संचार मंत्रालय जीएसटी के दूरसंचार ग्राहकों पर असर का विश्लेषण करेगा और अगर ग्राहकों या कंपनियों को कोई ‘वास्तविक परेशानियां’ नजर आती हैं तो वित्त मंत्रालय से संपर्क किया जाएगा। दूरसंचार सेवाओं के लिए माल व सेवा कर (जीएसटी) की दर 18 प्रतिशत है। वहीं एक जुलाई से पहले ग्राहकों को अपने फोन बिलों पर करों व उपकरों के रूप में 15 प्रतिशत का भुगतान करना होता था। हालांकि नयी कर प्रणाली जीएसटी में दूरसंचार कंपनियों को ‘इनपुट टैक्स क्रेडिट’ का फायदा भी मिलता है जिससे ग्राहकों के लिए प्रभावी दर कम हो जाती है।
सिन्हा ने कहा, ‘अगर कोई वास्तविक दिक्कत है तो मैं निश्चित रूप से वित्त मंत्री से विचार विमर्श करूंगा... हम विश्लेषण करेंगे कि ग्राहक पहले क्या भुगतान कर रहे थे, जीएसटी का असर क्या है और क्या इनपुट क्रेडिट का फायदा ग्राहकों को दिया जा रहा है?’ उन्होंने कहा कि फिलहाल इस बारे में जीएसटी परिषद या वित्त मंत्रालय से संपर्क करने की कोई योजना नहीं है। मंत्री ने कहा कि इनपुट क्रेडिट के असर से कराधान स्तर नीचे आएगा और प्रभावी कर दर लगभग 16 प्रतिशत होगी। हालांकि उन्होंने स्वीकार किया कि कंपनियों के लिए इनपुट टैक्स क्रेडिट का दावा करने में दिक्कत हो सकती है क्योंकि वे विभिन्न क्षेत्रों में काम करती हैं। उन्होंने कहा, यह परिचालन का मुद्दा है हम देखेंगे कि इसे कैसे सुलझाया जाए। सिन्हा ने कहा कि उनका मंत्रालय जीएसटी के कार्यान्वयन के संबंध में इस क्षेत्र पर करीबी निगाह रखे हुए है, बिलिंग को ध्यान में रखते हुए जल्द ही फैसला किया जाएगा।
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