ब्रॉडबैंड इंडिया फोरम का सरकार से उपक्रमों के लिये निजी 5जी नेटवर्क आवंटित करने का आग्रह

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उद्योग संगठन ने यह भी कहा कि सीमित दायरे में निजी परिसर नेटवर्क दूरसंचार सेवाप्रदाताओं के वैध राजस्व को कम नहीं करते हैं बल्कि उत्पादकता और दक्षता बढ़ाने में मदद करते हैं। बीआईएफ के अनुसार वास्तव में, निजी 5जी आधारित कुशल ‘कैप्टिव नेटवर्क’ उपक्रमों के लिये उत्पादकता में वृद्धि करेगा। इससे कारोबारी गतिविधियां और बाह्य संचार बढ़ेंगे।

नयी दिल्ली| उद्योग संगठन ब्रॉडबैंड इंडिया फोरम (बीआईएफ) ने बृहस्पतिवार को निजी 5जी नेटवर्क के लिये कंपनियों को कम प्रशासनिक शुल्क दरों पर सीधे स्पेक्ट्रम आवंटन की वकालत की है। अगली पीढ़ी की सेवाओं के लिये स्पेक्ट्रम आवंटन के पहले ‘कैप्टिव’ यानी निजी नेटवर्क के जटिल मुद्दे पर दूरसंचार और प्रौद्योगिकी कंपनियों के बीच बढ़ते विवाद के साथ संगठन ने यह बात कही।

बीआईएफ ने इस मामले में दूरसंचार परिचालकों के रुख को खारिज करते हुए कहा कि कुछ इकाइयों ने निजी 5जी नेटवर्क से दूरसंचार कंपनियों के राजस्व नुकसान की बात कही है, यह पूरी तरह से गलत धारणा पर आधारित है।

उद्योग संगठन ने यह भी कहा कि सीमित दायरे में निजी परिसर नेटवर्क दूरसंचार सेवाप्रदाताओं के वैध राजस्व को कम नहीं करते हैं बल्कि उत्पादकता और दक्षता बढ़ाने में मदद करते हैं। बीआईएफ के अनुसार वास्तव में, निजी 5जी आधारित कुशल ‘कैप्टिव नेटवर्क’ उपक्रमों के लिये उत्पादकता में वृद्धि करेगा। इससे कारोबारी गतिविधियां और बाह्य संचार बढ़ेंगे।

कुल मिलाकर इन सबसे दूरसंचार कंपनियों के लिये राजस्व बढ़ेगा। संगठन ने सरकार से सभी स्पेक्ट्रम बैंड में गैर-सार्वजनिक / निजी 5जी नेटवर्क के लिये स्पेक्ट्रम निर्धारित करने का आग्रह किया है।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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