जानना चाहेंगे डायनासोर से भी बड़े जानवर के बारे में

चीन में वैज्ञानिकों ने डायनासोर से भी बड़े सरीसर्प वर्ग के एक ऐसे जानवर का पता लगाया है जो गहरे पानी में रहता था। वैज्ञानिकों का कहना है कि यह जानवर आर्कोसारोमार्फ्स प्रजाति का था। डायनासोर भी इसी प्रजाति के थे।

डायनासोर का विशाल आकार रूह कंपाने वाला था, इसकी कई प्रजातियां तो इतनी विशाल थीं कि उनसे सामना हो जाने की कल्पना आज भी रोंगटे खड़े कर देती है और यदि कहा जाए कि पृथ्वी पर ही कभी डायनासोर से भी विशाल जानवर हुआ करते थे तो शायद यह बात होश उड़ाने वाली होगी। पर, यह सच है हाल ही में चीन में वैज्ञानिकों ने डायनासोर से भी बड़े सरीसर्प वर्ग के एक ऐसे जानवर का पता लगाया है जो गहरे पानी में रहता था। वैज्ञानिकों का कहना है कि यह जानवर आर्कोसारोमार्फ्स प्रजाति का था। डायनासोर भी इसी प्रजाति के थे।

आर्कोसारोमार्फ्स प्रजाति के इस मादा जीवाश्म को दक्षिण चीन में खोजा गया जो प्रेग्नेंट था। अध्ययनकर्ताओं के अनुसार यह डायनासोर से भी पुराना जानवर था जो तकरीबन 24.5 करोड़ साल पहले धरती पर पाया जाता था। संभवतः यह आर्कोसारोमार्फ्स प्रजाति का सबसे पहला जानवर रहा होगा। इसे ‘डाइनोसेफालोसॉरस’ नाम दिया गया है। यह जानवर दक्षिण चीन के समंदर में रहता था। इसकी गर्दन सामान्य से अत्याधिक लंबी तथा मुंह छोटा था। यह लगभग 6 मीटर लंबा था तथा इसकी गर्दन की लंबाई इसकी कुल लंबाई से तकरीबन आधी थी। यह मछलियां खाता था।

इस खोज से जुड़े ब्रिस्टल यूनिवर्सिटी के जीवाश्म वैज्ञानिक माइक बेन्टन का कहना है कि ‘डाइनोसेफालोसॉरस’ की सांप के जैसी दिखने वाली गर्दन और छोटा सिर आश्चर्यचकित करने वाला है। इसके अध्ययन से आर्कोसारोमाफ्र्स प्रजाति के बारे में यह नई बात पता चली है कि इस प्रजाति के जानवर गर्भधारण भी करते थे, जो चौंकाने वाली है। गौरतलब है कि डायनासोर, घड़ियाल व पक्षी इसी प्रजाति के सदस्य हैं जो अंडे देते हैं। यह खोज अब तक की सबसे दुर्लभ खोज कही जा रही है क्योंकि इससे पहले इस प्रजाति के किसी भी प्रेग्नेंट जानवर का जीवाश्म प्राप्त नहीं हुआ था।

वैज्ञानिकों की इस खोज को ‘नेचर कम्यूनिकेशन’ जर्नल में प्रकाशित किया गया है। इस खोज के प्रमुख लेखक चीन की हेफी यूनिवर्सिटी ऑफ टेक्नोलॉजी के जीवाश्म वैज्ञानिक जुन ल्यू के का कहना है कि जब हमने पहली बार इस जानवर के फॉसिल को देखा तो हम काफी उत्साहित थे कि हमें इतने पुराने प्रेग्नेंट जानवर मिला किन्तु हमें संदेह भी था कि यह इस जानवर के पेट में भ्रूण ही था या वह इसकी मौत से पहले खाया अपनी ही प्रजाति का खाना भी हो सकता है किन्तु इसके करीबी निरीक्षण से कई प्रमाण ऐसे प्राप्त हुए हैं जिनके आधार पर कहा जा सकता है कि यह गर्भ धारण करता था। इस फॉसिल पर अभी रिसर्च जारी है जिससे इसके बारे में और बेहतर जानकारियां हासिल होंगी।

अमृता गोस्वामी

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