क्या दोनों देशों के बीच स्थापित होगी शांति ? यूक्रेनी सांसद बोले- यह क्रेमलिन पर करता है निर्भर, भारत को लेकर भी कही बड़ी बात

Sviatoslav Yurash
प्रतिरूप फोटो

यूक्रेनी सांसद शिवतोस्लाव युराश ने भारत-रूस संबंधों पर भी अपनी राय रखी। उन्होंने कहा कि जहां तक भारत-रूस का संबंध है आपकी रणनीतिक मित्रता, साझेदारी पर एक संधि है, मुझे लगता है कि न केवल यूक्रेन बल्कि पुतिन के शासन द्वारा पिछले 20 वर्षों से किए जा रहे सभी कुकर्मों के आलोक में इस पर पुनर्विचार करने की आवश्यकता है।

कीव। रूस और यूकेन के बीच में दो हफ्तों से लड़ाई चल रही है और यह खत्म कब होगी, इसके बारे में कुछ कहा नहीं जा सकता है। इसी बीच यूक्रेन के सांसद शिवतोस्लाव युराश ने दोनों देशों के बीच शांति स्थापित करने की चर्चा पर कहा कि यह क्रेमलिन (रूस) पर निर्भर करता है। अगर क्रेमलिन ने आक्रामकता जारी रखने का फैसला किया है तो हम लड़ाई जारी रखेंगे। 

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उन्होंने कहा कि जहां तक पश्चिम से संबंध की बात है हमें बहुत सहायता मिली है और हम इसके लिए आभारी हैं। लेकिन फिर से कुछ भी पर्याप्त नहीं है, कुछ भी बहुत ज्यादा नहीं है और सहायता के लिए सभी का स्वागत है।

समाचार एजेंसी एएनआई के साथ बातचीत में यूक्रेन के सबसे कम उम्र के सांसद शिवतोस्लाव युराश ने भारत-रूस संबंधों पर भी अपनी राय रखी। उन्होंने कहा कि जहां तक भारत-रूस का संबंध है, आपकी रणनीतिक मित्रता और साझेदारी पर एक संधि है, मुझे लगता है कि न केवल यूक्रेन बल्कि व्लादिमीर पुतिन के शासन द्वारा पिछले 20 वर्षों से किए जा रहे सभी कुकर्मों के आलोक में इस पर (संबंधों) पुनर्विचार करने की आवश्यकता है। रूस को भारत द्वारा दंडित करने की आवश्यकता है।

हम भारत के आभारी हैं

उन्होंने कहा कि भारत उन देशों में से एक है जो इस सदी के भाग्य का फैसला करेगा। जहां तक रूसी संबंधों पर भारतीय रुख का सवाल है, हमारे राष्ट्रपति को प्रधानमंत्री मोदी द्वारा किए गए फोन के लिए मैं आभारी हूं। भारत द्वारा किए जा रहे मानवीय कदमों के लिए हम आभारी हैं।

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आपको बता दें कि भारत दोनों देशों (रूस और यूक्रेन) से शत्रुता को समाप्त करने और बातचीत के जरिए कूटनीतिक रास्ते पर लौटने की लगातार अपील कर रहा है। दोनों देशों के विषय पर बीते दिनों प्रधानमंत्री मोदी ने नीदरलैंड के अपने समकक्ष मार्क रूटे से भी फोन पर बातचीत की थी और इस दौरान भी कूटनीतिक रास्ते निकालने की बात को दोहराया था।

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