अविश्वसनीय रूप से समृद्ध समुदाय वास्तव में दोनों देशों के लिए संपत्ति है : Neera Tandon

Neera Tandon
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भारतीय अमेरिकी समुदाय अमेरिकी आबादी का लगभग एक प्रतिशत हैं और कहा जाता है कि इस समुदाय की अमेरिका में विभिन्न जातीय समूहों के बीच प्रति व्यक्ति आय सबसे अधिक है।

अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन की शीर्ष भारतीय-अमेरिकी सहयोगी नीरा टंडन ने कहा कि व्हाइट हाउस अगले महीने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की आधिकारिक राजकीय यात्रा की तैयारी में जुटा है और ‘‘अविश्वसनीय रूप से समृद्ध’’ समुदाय वास्तव में भारत और अमेरिका दोनों के लिए एक संपत्ति है। भारतीय अमेरिकी समुदाय अमेरिकी आबादी का लगभग एक प्रतिशत हैं और कहा जाता है कि इस समुदाय की अमेरिका में विभिन्न जातीय समूहों के बीच प्रति व्यक्ति आय सबसे अधिक है। भारतीय समुदाय ने वर्षों से भारत-अमेरिका संबंधों को मजबूत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है और इस तथ्य को राष्ट्रपति बाइडन सहित शीर्ष स्तर पर स्वीकार किया गया है।

राष्ट्रपति जो बाइडन की वरिष्ठ सलाहकार 52 वर्षीय टंडन ने ‘पीटीआई-भाषा’ के साथ एक विशेष साक्षात्कार में कहा, ‘‘एक चीज जो वास्तव में दोनों देशों के लिए संपत्ति है, वह है अमेरिका में अविश्वसनीय रूप से समृद्ध समुदाय। मैं उन संगठनों के साथ जुड़ी हुई हूं, जिन्होंने वास्तव में अमेरिका में समुदाय पर ध्यान केंद्रित किया है। भारतीय अमेरिकियों और यहां पैदा हुए पहली, दूसरी पीढ़ी के भारतीयों तथा भारत में जिनके परिवार हैं, उनके बीच समृद्ध संबंध हैं। यह इस रिश्ते के लिए एक प्रमुख संपत्ति है।’’ राष्ट्रपति की वरिष्ठ सलाहकार और स्टाफ सेक्रेटरी के रूप में शुक्रवार का दिन इस पद पर उनके कार्यकाल का आखिरी दिन था।

सोमवार से टंडन व्हाइट हाउस की घरेलू नीति सलाहकार का पद संभालेंगी जो व्हाइट हाउस में उन्हें सबसे शक्तिशाली भारतीय अमेरिकियों में से एक बनाएगा। व्हाइट हाउस घरेलू नीति सलाहकार के रूप में वह पूर्व राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार एवं संयुक्त राष्ट्र में पूर्व अमेरिकी राजदूत सुजैन राइस की जगह लेंगी। टंडन ने एक सवाल के जवाब में कहा, ‘‘मैं प्रधानमंत्री (नरेन्द्र) मोदी की राजकीय यात्रा को लेकर बहुत उत्साहित हूं।’’ मोदी को राष्ट्रपति बाइडन और प्रथम महिला जिल बाइडन ने 22 जून को राजकीय यात्रा के लिए आमंत्रित किया है। टंडन ने 1990 के दशक में राजनीति और नीति के क्षेत्र में काम करना शुरू किया था। उन्होंने पिछले 25 वर्षों से वाशिंगटन में विभिन्न पदों पर काम किया है।

टंडन ने कहा कि अप्रवासी माता-पिता की बेटी के रूप में उनका अनुभव अमेरिका में उन कई अप्रवासियों के समान ही है और वह व्हाइट हाउस घरेलू नीति सलाहकार के रूप में अपनी नयी भूमिका में वह अप्रवासन के मुद्दे पर काम करेंगी। टंडन ने शुक्रवार को ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘‘वर्तमान में मैं स्टाफ सेक्रेटरी हूं और कल मैं… घरेलू नीति परिषद सलाहकार के रूप में कार्यभार संभालने को लेकर बेहद उत्साहित हूं। मेरा अनुभव अमेरिका में रह रहे उन कई अप्रवासी बच्चों की तरह ही है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘मेरे पिता 1950 के दशक की शुरुआत में भारत से यहां आए थे और मेरी मां 1960 के दशक में आईं। वे बोस्टन के एक उपनगर, मैसाचुसेट्स के बेडफोर्ड चले गए। वे उस समुदाय में एकमात्र भारतीय परिवार थे। इसलिए, मैंने खुद को उस समुदाय का हिस्सा माना, लेकिन यह थोड़ा अलग भी था।’’

राष्ट्रपति जो बाइडन की करीबी विश्वासपात्र टंडन को इस महीने बाइडन ने अपने घरेलू नीति सलाहकार के रूप में नामित किया था ताकि उन्हें अपनी घरेलू नीति के एजेंडे को तैयार करने और लागू करने में मदद मिल सके, जिससे वह अमेरिका के इतिहास में व्हाइट हाउस की तीन प्रमुख नीति परिषदों में से किसी का नेतृत्व करने वाली पहली एशियाई-अमेरिकी बन गईं। उन्होंने कहा, ‘‘मेरी मां कभी-कभी साड़ी पहनती थीं। मैं बेडफोर्ड के अन्य परिवारों से अलग थी। मुझमें अप्रवासियों की संतान होने का द्वंद्व था, साथ ही अमेरिका का हिस्सा होने का एहसास भी था।’’ उन्होंने कहा, ‘‘मैं इस भूमिका को लेकर वास्तव में अत्यंत उत्साहित हूं और घरेलू नीति सलाहकार के रूप में जिन मुद्दों पर काम करूंगी, उनमें से एक अप्रवासन का मुद्दा भी है।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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