राकेश टिकैत का आरोप, हिमाचल में सेब कारोबार पर कब्जा करने की फिराक में है अदानी समूह

Rakesh Tikait

राकेश टिकैत ने कहा कि हिमाचल सरकार को सेब बागवानों के हितों की रक्षा करनी चाहिए। लेकिन सरकार कुछ नहीं कर रही। हम इस बारे में सरकार से बात करेंगे। उन्होंने कहा कि सब की कीमतों में गिरावट सबके लिये चिंता का विषय है। यह सरकार की निजी कंपनियों के साथ सांठगांठ के चलते हो रहा है। हिमाचल में दस साल पहले इस खेल की शुरूआत हुई थी। जो अब खूब फल-फूल रहा है।

शिमला। भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत ने आज शिमला प्रेस क्लब में पत्रकारों को संबोधित करते हुये केंद्र सरकार  पर किसानों बागवानों की समस्याओं को अनदेखा करने का आरोप लगाते हुये हिमाचल प्रदेश से बागवानों के हितों के लिये अगला अंदोलन शुरू करने का एलान किया।  प्रदेश के लोगों को साथ लेकर मजबूत अंदोलन होगा।

 

राकेश टिकैत ने कहा कि हिमाचल सरकार को सेब बागवानों के हितों की रक्षा करनी चाहिए।  लेकिन सरकार कुछ नहीं कर रही। हम इस बारे में सरकार से बात करेंगे। 

उन्होंने कहा कि सब की कीमतों में गिरावट सबके लिये चिंता का विषय है। यह सरकार की निजी कंपनियों के साथ सांठगांठ के चलते हो रहा है।  हिमाचल में दस साल पहले इस खेल की शुरूआत हुई थी।  जो अब खूब फल-फूल रहा है।

इसे भी पढ़ें: किसान नेता राकेश टिकैत केवल देश और प्रदेश में वातावरण खराब करने का असफल प्रयास कर रहे

हिमाचल में अदानी ग्रुप इस खेल को खेल रहा है। इससे किसान बागवान प्रभावित हो रहे हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि अदानी समूह सुनियोजित तरीके से सेब के दाम कम करवा रहा है। अदानी बागवानों के सस्ता सेब खरीद रहा है और अब ये कंपनियां खाद्यान्नों पर कब्जा करना चाहती हैं। इस बारे में दिल्ली में चल रहे किसान आंदोलन में बताया जाएगा कि किस तरह से सेब बागवानों के कारोबार को प्रभावित किया जा रहा है।

 

 

उन्होंने कहा कि राज्य सरकार बागवानों को राहत देते हुए सेब की ढुलाई पर ट्रांसपोर्ट सब्सिडी दे, ताकि बागवानों को कुछ राहत मिल सके।  उन्होंने सेब की खरीद के लिए एमएसपी तय करने की वकालत भी की। 

इसे भी पढ़ें: प्रदेश सरकार सेब बागवानों के हितांे की रक्षा के लिए प्रतिबद्धः शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज

हिमाचल में आंदोलन को लेकर टिकैत ने कहा कि इसको लेकर किसानों-बागवानों से बात की जाएगी और आंदोलन खड़ा किया जाएगा। दिल्ली में चल रहे किसान आंदोलन पर उन्होंने एक फिर से साफ किया कि जब कर केंद्र सरकार तीनों कृषि कानूनों को वापस नहीं लेती, तब तक आंदोलन चलता रहेगा। राकेश टिकैत ने कहा कि 5 सितंबर को मुजफ्फरनगर में किसानों की महापंचायत होगी, उसमें अब तक के नौ  महीने के आंदोलन की समीक्षा की जाएगी और आगामी रणनीति बनाई जाएगी।

We're now on WhatsApp. Click to join.
All the updates here:

अन्य न्यूज़