राजस्थान के बाद अब मध्यप्रदेश के शहडोल में 6 नवजात बच्चों की मौत

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दिनेश शुक्ल । Jan 15 2020 10:29PM

मुख्यमंत्री कमलनाथ ने स्वास्थ्य मंत्री से चर्चा के बाद उन्हें अस्पताल निरिक्षण और मृतक बच्चों के परिजनों से मिलकर पूरे मामले की जाँच के निर्देश दिए थे। मुख्यमंत्री के निर्देश के बाद स्वास्थ्य मंत्री तुलसी सिलावट बुधवार को शहडोल पहुँचे, जहाँ उन्होनें शहडोल कमिश्नर को दोनों जिम्मेदार डॉक्टरों को कार्यमुक्त करने के निर्देश दिए।

भोपाल। मध्य प्रदेश में शहडोल जिला चिकित्सालय में हुई 6 नवजात बच्चों की मौत के मामले ने पूरे प्रदेश मे हड़कंप मचा दिया है। जिसके बाद खुद मुख्यमंत्री कमलनाथ को इस मामले में संज्ञान लेना पड़ा और उन्होनें प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री तुलसी सिलावट को निर्देशित कर जिला अस्पताल जाकर पूरे मामले की जानकारी देने के निर्देश दिए। स्वास्थ्य मंत्री के शहडोल जिला अस्पताल पहुँचने के बाद सीएमएचओ डॉ. राजेन्द्र पाण्डेय और डॉ. उमेश नामदेव को उनके निर्देश के बाद हटा दिया गया।

प्रदेश के शहडोल जिला अस्पताल में सोमवार रात 6 नवजात बच्चों की मौत हो गई थी, जिसमें 2 बच्चे वार्ड और 4 एसएनसीयू में भर्ती थे। एसएनसीयू में भर्ती नवजात बच्चों की उम्र एक महीने से कम थी, वहीं बच्चा वार्ड में भर्ती बच्चों की उम्र दो से तीन महीने की बताई जा रही है। बताया जा रहा है कि सभी बच्चों को निमोनिया हुआ था। अस्पताल में एक साथ 6 बच्चों की मौत से पूरे प्रदेश में हड़कंप मच गया था। जिसके बाद मुख्यमंत्री कमलनाथ ने स्वास्थ्य मंत्री से चर्चा के बाद उन्हें अस्पताल निरिक्षण और मृतक बच्चों के परिजनों से मिलकर पूरे मामले की जाँच के निर्देश दिए थे। मुख्यमंत्री के निर्देश के बाद स्वास्थ्य मंत्री तुलसी सिलावट बुधवार को शहडोल पहुँचे, जहाँ उन्होनें शहडोल कमिश्नर को दोनों जिम्मेदार डॉक्टरों को कार्यमुक्त करने के निर्देश दिए।

शहड़ोल जिला अस्पताल पहुँचे मंत्री सिलावट ने जिला अस्पताल का निरीक्षण किया और बच्चों के परिजनों से मुलाकात की थी। इस दौरान महिलाओं में स्वास्थ्य मंत्री से अस्पताल में चल रही अव्यवस्थाओं की शिकायतें भी की। स्वास्थ्य मंत्री ने अस्पताल में छह बच्चों की मौत को दुखद बताया और मामले की जांच कराने का आश्वासन दिया। इस दौरान उनके साथ आदिवासी विकास मंत्री ओमकार सिंह मरकाम भी साथ में रहे।

प्रदेश सरकार ने पूरे मामले को दुखद बताते हुए, जांच की घोषणा कर दी है स्वास्थ्य मंत्री तुलसी सिलावट ने कहा कि जो भी दोषी पाए जाएंगे उन्हें दंडित किया जाएगा। फिलहाल सीएमएचओ और सिविल सर्जन को कार्यमुक्त करने के निर्देश दिए गए हैं। राज्य सरकार इस मामले को लेकर गंभीर हैं, इसलिए अब तक यहां तीन-तीन मंत्री आ चुके हैं। इस दौरान मंत्री तुलसी सिलावट ने कहा कि प्रदेश के आदिवासी क्षेत्रों में विशेष पैकेज देकर डॉक्टरों की भर्ती की जा रही है। इसके अलावा हर संभाग में एक-एक विशेष समिति बनाई जा रही है, जो ऐसे मामलों को देखेगी। जबकि इस पूरे मामले में अभी तक अस्पताल प्रबंधन की लापरवाही ही सामने आई है।

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