तेजपाल को बरी किये जाने के खिलाफ उच्च न्यायालय का रुख करेगी गोवा सरकार: मुख्यमंत्री

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सावंत ने पत्रकारों से कहा, हम गोवा में महिलाओं के साथ किसी भी तरह के अन्याय को बर्दाश्त नहीं करेंगे। हम जिला अदालत के इस निर्णय को जल्द ही उच्च न्यायालय में चुनौती देंगे।

पणजी। गोवा के मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत ने शुक्रवार को कहा कि राज्य सरकार बलात्कार के मामले में पत्रकार तरुण तेजपाल को बरी करने के यहां की एक अदालत के निर्णय के खिलाफ उच्च न्यायालय का रुख करेगी। मापुसा की एक सत्र अदालत ने गोवा में एक पांच सितारा होटल की लिफ्ट में साथी महिला के यौन उत्पीड़न के मामले में शुक्रवार को तेजपाल को बरी कर दिया है। सावंत ने पत्रकारों से कहा, हम गोवा में महिलाओं के साथ किसी भी तरह के अन्याय को बर्दाश्त नहीं करेंगे। हम जिला अदालत के इस निर्णय को जल्द ही उच्च न्यायालय में चुनौती देंगे। सावंत ने कहा कि उन्होंने उच्च न्यायालय का रुख करने को लेकर इस मामले के लोक अभियोजक और जांच अधिकारी के साथ व्यक्तिगत रूप से चर्चा की है। सावंत ने दावा किया कि आरोपी के खिलाफ पर्याप्त सबूत हैं। गोवा पुलिस ने नवंबर 2013 में तेजपाल के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की थी, जिसके बाद उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया था। गोवा की अपराध शाखा ने तेजपाल के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया था। वह मई 2014 से जमानत पर थे। 

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तेजपाल के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (भादंसं) की धारा342(गलत तरीके से रोकना), 342 (गलत तरीके से बंधक बनाना), 354 (गरिमा भंग करने की मंशा से हमला या आपराधिक बल का प्रयोग करना), 354-ए (यौन उत्पीड़न), धारा 376 की उपधारा दो (फ) (पद का दुरुपयोग कर अधीनस्थ महिला से बलात्कार) और 376 (2) (क) (नियंत्रण कर सकने की स्थिति वाले व्यक्ति द्वारा बलात्कार) के तहत मुकदमा चला।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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