प्रशांत किशोर का दावा, NRC पर विरोध को देखते हुए चतुराई से पीछे हट गई भाजपा
जदयू के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रशांत किशोर ने गुरूवार को कहा कि भाजपा का राष्ट्रीय नागरिक पंजी के मामले में किया गया दावा कि अभी तो एनआरसी की कोई चर्चा ही नहीं हुई है, कुछ और नहीं बल्कि देशभर में संशोधित नागरिकता कानून एवं एनआरसी को लेकर हो रहे भारी विरोध को देखते हुए चतुराई पूर्वक पीछे हटना है।
पटना। बिहार में सत्तारूढ़ जदयू के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रशांत किशोर ने गुरूवार को कहा कि भारतीय जनता पार्टी का राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) के मामले में किया गया दावा कि “अभी तो एनआरसी की कोई चर्चा ही नहीं हुई है”, कुछ और नहीं बल्कि देशभर में संशोधित नागरिकता कानून एवं एनआरसी को लेकर हो रहे भारी विरोध को देखते हुए चतुराई पूर्वक पीछे हटना है।
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किशोर ने गुरूवार को ट्वीट किया कि संशोधित नागरिकता कानून एवं एनआरसी के विरोध के कारण केंद्र सरकार चतुराई पूर्व पीछे हटते यह दावा किया कि “अभी तो एनआरसी की कोई चर्चा ही नहीं हुई है”। उन्होंने कहा यह एक विराम है न कि पूर्ण विराम। सीएए पर उच्चतम न्यायालय का फैसला आने तक सरकार इंतजार कर सकती है। अदालत से पक्ष में फैसला आने के बाद एक बार फिर से यह पूरी प्रक्रिया शुरू हो जाएगी।
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उल्लेखनीय है कि किशोर अपनी पार्टी लाइन से अलग जाकर संशोधित नागरिकता कानून का विरोध किया था जिसपर वह अब भी कायम हैं। उन्होंने सीएए को लेकर उक्त ट्वीट प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की रामलीला मैदान की रैली को लेकर किया है जिसमें मोदी ने विपक्षी दलों पर एनआरसी को लेकर बेवजह जनता को गुमराह करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि सरकार ने अभी तक इसपर किसी तरह की चर्चा ही नहीं की है।
The claim of “अभी तो NRC की कोई चर्चा ही नहीं हुई है” is nothing but a tactical retreat in the face of nationwide protest against #CAA_NRC. It is a pause and not the full stop.
— Prashant Kishor (@PrashantKishor) December 26, 2019
Govt could wait till SC judgement on CAA. A favourable court order and the whole process will be back.
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