नारे लगाने से नहीं होता राष्ट्रीय सुरक्षा से समझौता: थरूर

[email protected] । Aug 22 2016 10:52AM

कथित राजद्रोह के मामले में एमनेस्टी इंटरनेशनल को दी गई क्लीन चिट का बचाव करते हुए कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने कहा है कि कुछ लोगों के नारे लगाने से राष्ट्रीय सुरक्षा से समझौता नहीं होता।

कर्नाटक के गृह मंत्री जी परमेश्वर की ओर से कथित राजद्रोह के मामले में एमनेस्टी इंटरनेशनल को दी गई क्लीन चिट का बचाव करते हुए कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने कहा है कि कुछ लोगों के नारे लगाने से राष्ट्रीय सुरक्षा से समझौता नहीं होता। उन्होंने कहा कि एमनेस्टी इंटरनेशनल के खिलाफ राजद्रोह का मामला दर्ज करना ‘‘बड़ी भूल’’ है। रविवार को यहां ओपी जिंदल ग्लोबल यूनिवर्सिटी की ओर से बौद्धिक संपदा अधिकार (आईपीआर) पर आयोजित एक सम्मेलन के इतर थरूर ने बताया, ‘‘कुछ लोगों के नारे लगा देने से हमारे देश की राष्ट्रीय सुरक्षा से समझौता नहीं हो जाता। हम उससे ज्यादा मजबूत हैं, हम उससे ज्यादा बड़े हैं, हम उससे ज्यादा अच्छे हैं।’’

थरूर ने कहा, ‘‘एमनेस्टी पर राजद्रोह का मामला दर्ज करना पहले ही बड़ी भूल थी। एनजीओ ने हिंसा की वकालत नहीं की थी और उस सम्मेलन में भी किसी ने हिंसा की वकालत नहीं की थी।’’ उन्होंने कहा, ‘‘हम अभी युद्ध की स्थिति में नहीं हैं। हमें राजद्रोह वगैरह के नजरिए से नहीं सोचना चाहिए।’’ पूर्व राजनयिक ने एक ऐसे कानून की वकालत की जो हिंसा की अपील या हिंसा के लिए उकसाने को अपराध मानता हो। थरूर ने कहा, ‘‘हमें एक ऐसे कानून की जरूरत है जो हिंसा की अपील और हिंसा के लिए उकसाने और प्रोत्साहित करने को अपराध मानता हो, न कि राजनीतिक विचारों या ऐसे विचारों की अभिव्यक्ति को अपराध मानता हो जो हमें पसंद नहीं हैं।’’ शनिवार को परमेश्वर ने कहा था कि एमनेस्टी ने कभी खुद को देशद्रोही गतिविधियों में शामिल नहीं किया है। बेंगलूर में एमनेस्टी की ओर से आयोजित एक कार्यक्रम में कथित तौर पर भारत-विरोधी और सेना-विरोधी नारे लगाने के आरोप में इस एनजीओ के खिलाफ राजद्रोह का मामला दर्ज किया गया था।

We're now on WhatsApp. Click to join.

Tags

    All the updates here:

    अन्य न्यूज़