Raxaul Assembly Seat: इस बार भी रक्सौल सीट पर कड़ा मुकाबला, यहां समझें पूरा सियासी गणित

बिहार की रक्सौल विधानसभा सीट पर भारतीय जनता पार्टी के सामने कांग्रेस और जन सुराज के प्रत्याशी कड़ी चुनौती पेश करेंगे। इस बार भाजपा ने यहां से प्रमोद कुमार सिन्हा को अपना उम्मीदवार बनाया है। तो वहीं कांग्रेस पार्टी ने श्यामा बिहारी प्रसाद को टिकट दिया है।
बिहार विधानसभा चुनाव के तहत सियासी बिसात पर शह-मात का खेल भी शुरू हो चुका है। इस कड़ी में पूर्व चंपारण जिले में बसी रक्सौल विधानसभा सीट प्रमुख और चर्चा में रहने वाली सीटों में शुमार किया जाता है। यह सीट पश्चिम चंपारण लोकसभा क्षेत्र का हिस्सा है। इस सीट पर दूसरे चरण में 11 नवंबर को मतदान होने हैं। अगर आप पिछले दो विधानसभा चुनावों को देखेंगे तो इस सीट से भारतीय जनता पार्टी ने दोनों बार सफलता पाई है। ऐसे में इस बार के चुनाव में इस सीट पर कड़ी जंग होने की उम्मीद है।
किसके बीच मुकाबला
बिहार की रक्सौल विधानसभा सीट पर भारतीय जनता पार्टी के सामने कांग्रेस और जन सुराज के प्रत्याशी कड़ी चुनौती पेश करेंगे। इस बार भाजपा ने यहां से प्रमोद कुमार सिन्हा को अपना उम्मीदवार बनाया है। तो वहीं कांग्रेस पार्टी ने श्यामा बिहारी प्रसाद को टिकट दिया है। इसके अलावा जन सुराज पार्टी ने कपिलदेव प्रसाद उर्फ भुवन पटेल को चुनावी मैदान में उतारकर मुकाबले को त्रिकोणीय और दिलचस्प बना दिया है। राजनीतिक विश्लेषकों की मानें, तो रक्सौल में बीजेपी की संगठनात्मक मजबूती और सीमावर्ती इलाकों में विकास कार्यों के बल पर पार्टी जनता के बीच है।
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सियासी समीकरण
साल 2020 के विधानसभा चुनाव के बाद नीतीश कुमार के नेतृत्व में NDA ने सत्ता संभाली थी। लेकिन अगस्त 2022 में नीतीश कुमार ने एनडीए छोड़ दिया और महागठबंधन के साथ सरकार बनाई थी। हालांकि साल 2024 में नीतीश कुमार ने फिर एनडीए में वापसी की। ऐसे में साल 2025 के चुनाव में रक्सौल विधानसभा सीट पर बदलती सियासी स्थिति के बीच रोमांचक मुकाबला होने की उम्मीद जताई जा रही है। हालांकि यहां पर NDA का आधार काफी मजबूत रहा है। ऐसे में अब देखना दिलचस्प होगा कि क्या इस सीट पर NDA फिर से अपना झंडा बुलंद करने में सफल होता है।
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