मतदान केंद्र-वार आंकड़े जारी करने से अराजकता फैल जाएगी: निर्वाचन आयोग ने न्यायालय से कहा

Election Commission
ANI

याचिका में आयोग को लोकसभा के प्रत्येक चरण के मतदान के समापन के 48 घंटे में वेबसाइट पर मतदान केंद्र-वार आंकड़े अपलोड करने का निर्देश देने का अनुरोध किया गया था।

निर्वाचन आयोग ने बुधवार को उच्चतम न्यायालय से कहा कि मतदान केंद्र-वार मतदान प्रतिशत डेटा के अविवेकपूर्ण खुलासे और इसे वेबसाइट पर पोस्ट करने से चुनावी मशीनरी में अराजकता फैल जाएगी, जो मौजूदा लोकसभा चुनाव में जुटी है।

आयोग ने कहा कि एक मतदान केंद्र में डाले गए वोटों की संख्या बताने वाले फॉर्म 17सी का विवरण सार्वजनिक नहीं किया जा सकता और और इससे पूरे चुनावी तंत्र में अराजकता फैल सकती है क्योंकि इससे तस्वीरों के साथ छेड़छाड़ की संभावना बढ़ जाती है।

इसने इस आरोप को भी गलत और भ्रामक बताते हुए खारिज किया कि लोकसभा चुनाव के पहले दो चरण में मतदान के दिन जारी किए गए आंकड़ों और बाद में दोनों चरणों में से प्रत्येक के लिए जारी प्रेस विज्ञप्ति में 5-6 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई।

आयोग ने एक गैर सरकारी संगठन की याचिका के जवाब में दायर एक हलफनामे में यह बात कही। याचिका में आयोग को लोकसभा के प्रत्येक चरण के मतदान के समापन के 48 घंटे में वेबसाइट पर मतदान केंद्र-वार आंकड़े अपलोड करने का निर्देश देने का अनुरोध किया गया था।

इसने 225 पृष्ठ के हलफनामे में कहा, “यदि याचिकाकर्ता का अनुरोध स्वीकार किया जाता है तो यह न केवल कानूनी रूप से प्रतिकूल होगा बल्कि इससे चुनावी मशीनरी में भी अराजकता पैदा होगी, जो पहले ही लोकसभा चुनाव में जुटी है।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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