कोविड-19 टीकाकरण से संबंधित याचिका पर बंबई HC में सुनवाई पर शीर्ष अदालत की रोक

 Bombay HC

कोविड-19 टीकाकरण से संबंधित याचिका पर बंबई उच्च न्यायालय में सुनवाई पर शीर्ष अदालत की रोक लगा दी है।एसआईआई ने बंबई उच्च न्यायालय के समक्ष लंबित मामले को शीर्ष अदालत के समक्ष स्थानांतरित किये जाने की मांग की है।

नयी दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने वकील समुदाय के सदस्यों को प्राथमिकता के आधार पर कोविड-19 का टीका लगाने की याचिका पर बंबई उच्च न्यायालय में चल रही कार्यवाही पर शुक्रवार को रोक लगा दी। प्रधान न्यायाधीश एस ए बोबडे, न्यायमूर्ति ए एस बोपन्ना और न्यायमूर्ति रामसुब्रमण्यमकी पीठ ने सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया (एसआईआई) की याचिका पर आदेश सुनाया। एसआईआई ने बंबई उच्च न्यायालय के समक्ष लंबित मामले को शीर्ष अदालत के समक्ष स्थानांतरित किये जाने की मांग की है। पीठ ने कहा, ‘‘दो सप्ताह बाद मामलों को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया जाए। तब तक उच्च न्यायालय में सुनवाई पर स्थगन रहेगा।’’

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शीर्ष अदालत ने वकील बिरादरी को कोविड-19 का टीका लगाने में प्राथमिकता पर दिल्ली उच्च न्यायालय में कार्यवाही पर 18 मार्च को रोक लगा दी थी और इस मुद्दे पर स्वत: संज्ञान लेते हुए मामले का स्थानांतरण उसे करने की वकालत की थी। केंद्र सरकार ने, इससे पहले, वकीलों की अलग श्रेणी बनाये जाने का विरोध किया था और कहा था कि वह विधिक समुदाय के सदस्यों के खिलाफ नहीं है लेकिन कल पत्रकार और बैंकिंग क्षेत्र के कर्मी भी आगे आकर टीकाकरण में प्राथमिकता देने की मांग कर सकते हैं। शीर्ष अदालत ने एसआईआई और भारत बायोटेक की याचिकाओं पर केंद्र तथा अन्य से जवाब मांगा। उन्होंने मामलों को उच्च न्यायालयों से शीर्ष अदालत में स्थानांतरित करने का अनुरोध किया था। टीका निर्माताओं का कहना था कि विभिन्न उच्च न्यायालय टीका उत्पादन पर आंकड़े मांग रहे हैं और पूछ रहे हैं कि वे कब तक सभी को टीके मुहैया करा पाएंगे।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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