मायने यह रखता है कि किसे प्रधानमंत्री के रूप में वापसी करने से रोका जाए: शत्रुघ्न सिन्हा

Shatrughan Sinha
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अभिनेता से नेता बने सिन्हा ने अपनी पार्टी प्रमुख और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को ‘‘विश्वसनीय’’ नेता बताया और दावा किया कि अगले साल लोकसभा चुनाव में वह ‘‘पासा पलटने’’ वाली नेता साबित होंगी।

पटना। पूर्व केंद्रीय मंत्री और तृणमूल कांग्रेस के सांसद शत्रुघ्न सिन्हा ने कहा कि यह चिंता करना व्यर्थ है कि विपक्ष का प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार कौन होगा बल्कि यह स्पष्टता मायने रखती है कि किसे प्रधानमंत्री के रूप में वापसी करने से रोकना चाहिए। अभिनेता से नेता बने सिन्हा ने अपनी पार्टी प्रमुख और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को ‘‘विश्वसनीय’’ नेता बताया और दावा किया कि अगले साल लोकसभा चुनाव में वह ‘‘पासा पलटने’’ वाली नेता साबित होंगी। ‘बिहारी बाबू’ के नाम से मशहूर सिन्हा ने कहा, ‘‘ऐसा लगता है कि मेरे मित्र, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के ‘अच्छे दिन’ खत्म हो गए हैं।’’ उन्होंने चार साल पहले भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) छोड़ दी थी।

पूर्व केंद्रीय मंत्री ने बुधवार रात को पत्रकारों से कहा, ‘‘हम लंबे समय से यह बात सुन रहे हैं कि कौन नेता होगा। नेहरू के वक्त तक भी लोग यही सवाल पूछते थे। विपक्ष के लिए इस बात की चिंता करना व्यर्थ है। किसे प्रधानमंत्री के रूप में लौटने से रोका जाए, इस संबंध में स्पष्टता होना महत्वपूर्ण है।’’ उन्होंने राहुल गांधी को ‘‘काबिल’’ नेता बताया लेकिन वह इस सवाल से बचते नजर आए कि पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष विपक्षी गठबंधन का ‘‘नेतृत्व’’ कर सकते हैं या नहीं। टीएमसी नेता ने यह भी कहा कि वह बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और विपक्षी एकता के उनके प्रयासों का काफी सम्मान करते हैं लेकिन ‘‘उन्होंने खुद को प्रधानमंत्री पद की दौड़ से बाहर कर लिया है।’’

भविष्य में तेजस्वी यादव के बिहार का मुख्यमंत्री बनने की चर्चा के बारे में पूछे जाने पर ‘शॉटगन’ के नाम से मशहूर सिन्हा ने राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के युवा नेता का समर्थन किया। उन्होंने कहा, ‘‘अगर नरेंद्र मोदी देश के प्रधानमंत्री बन सकते हैं तो बेचारे तेजस्वी से क्या दिक्कत है? जन समर्थन हासिल करने वाला कोई भी व्यक्ति राजनीति में तरक्की कर सकता है।’’ शिवसेना के संबंध में सिन्हा ने कहा, ‘‘मुझे लगता है कि खेल अभी शुरू हुआ है और उच्चतम न्यायालय न्याय करेगा।’’ गौरतलब है कि उद्धव ठाकरे गुट ने शीर्ष न्यायालय का रुख करते हुए निर्वाचन आयोग के उस फैसले को चुनौती दी है जिसमें एकनाथ शिंदे गुट को असली शिवसेना के रूप में मान्यता दी गयी और उसे ‘तीर और कमान’ चुनाव चिह्न आवंटित कर दिया गया।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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