आखिर सावन के महीने में दूध, दही का सेवन करने से क्यों करते हैं मना ? पढ़ें पूरी रिपोर्ट
सावन के महीने में बारिश की वजह से जगह-जगह घास और तरह-तरह की हरे पेड़-पौधे अपने आप उगने लगते हैं। साथ ही इस मौसम में कई तरह के कीड़े-मकोड़े भी इन घास और पौधों में पनपने लगते हैं।
मेरठ। कई बार आपने लोगों को कहते सुना होगा कि सावन के महीने में दूध, दही और इनसे बनी चीजें नहीं खानी चाहिए। लेकिन अगर किसी से ये सवाल करो कि क्यों नहीं खानी चाहिए तो जवाब आसानी से मिलता नहीं है। आइये आपके इस सवाल का जवाब हम देते हैं कि सावन के महीने में दूध, दही और इनसे बनी चीजें क्यों नहीं खानी चाहिए।
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सावन के महीने में बारिश की वजह से जगह-जगह घास और तरह-तरह की हरे पेड़-पौधे अपने आप उगने लगते हैं। साथ ही इस मौसम में कई तरह के कीड़े-मकोड़े भी इन घास और पौधों में पनपने लगते हैं। इस घास-फूस को चारे के तौर पर गाय, भैंस और बकरी चरते रहते हैं, और चारे के साथ ये कीड़े-मकोड़े दूध देने वाले पशुओं के पेट में पहुंच सकते हैं। जहां से ये हानिकारक तत्व के तौर पर दूध में भी मिल सकते और दूध के सेवन के ज़रिये इनके आपके शरीर में पहुंचने का खतरा बना रहता है। इसीलिए सावन के महीने में दूध पीने के लिए मना किया जाता है। वहीं दूध से ही दही और पनीर जैसी कई चीजें तैयार की जाती हैं, जिसकी वजह से इनका सेवन न करने की सलाह भी सावन के महीने में दी जाती है।
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बारिश के मौसम में अक्सर लोगों का का पाचन तंत्र कमज़ोर हो जाता है। जिसकी वजह से दूध और दही या फिर इनसे बनी चीजों का सेवन करने से कई बार अपच, गैस, पेट दर्द, उल्टी, दस्त और एसिडिटी जैसी पेट सम्बन्धी दिक्कतें होने लगती हैं। इसलिए सावन के महीने में दूध, दही और इनसे बनी चीजों का सेवन न करने की सलाह दी जाती है।
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