क्या है ओला का कृत्रिम AI? क्यों कहा जा रहा है भारत का स्वदेशी AI
भारत का पहला फुट स्टैक AI के रूप में कैटगराइज किया गया है। कंपनी का दावा है कि कृत्रिम स्थानीय भारतीय ज्ञान, भाषाओं और डेटा पर बनाया गया है। अग्रवाल ने इस टूल को सभी के लिए फायदेमंद बताया है। हालांकि, अभी ये क्लियर नहीं है कि किस तरह ये टूल काम करेगा और क्या-क्या सुविधाएं आम लोगों को देगा।
इस साल की शुरुआत में ओला के फाउंडर भाविश अग्रवाल की एआई स्टार्टअप कंपनी कृत्रिम ने बड़ी सफलता हासिल कर ली है। एआई स्टार्टअप कृत्रिम भारत की पहली AI यूनिकॉर्न बन गई है। भाविश अग्रवाल ने ऐलान किया है कि उनकी एआई स्टार्टअप कृत्रिम ने 5 करोड़ डॉलर जुटाए हैं।
क्या है ओला कृत्रिम AI?
ओला के अनुसार, कृत्रिम एआई एक सहायक है, जिसकी कल्पना आपके स्वयं के व्यक्तिगत सहायक के रूप में की गई है, जो भारतीय लोकाचार की सौंदर्य बोध और संवेदनाओं को ध्यान में रखते हुए, आपके लिए विभिन्न प्रकार के कार्यों को पूरा करके आपके व्यक्तिगत और व्यावसायिक जीवन को सरल बना सकता है।
बता दें कि, भारत का पहला फुट स्टैक AI के रूप में कैटगराइज किया गया है। कंपनी का दावा है कि कृत्रिम स्थानीय भारतीय ज्ञान, भाषाओं और डेटा पर बनाया गया है। अग्रवाल ने इस टूल को सभी के लिए फायदेमंद बताया है। हालांकि, अभी ये क्लियर नहीं है कि किस तरह ये टूल काम करेगा और क्या-क्या सुविधाएं आम लोगों को देगा।
कंपनी का लक्ष्य भारतीय उपभोक्ताओं की विविध आवश्यकताओं और बारीकियों को पूरा करने के लिए डिज़ाइन किया गया AI का एक अनूठा रूप विकसित करना है। ओला का दावा है कि कृत्रिम उसके अपने फाउंडेशन मॉडल पर बनाया गया है और यह "दिल से भारतीय" है। कंपनी ने कहा कि एआई असिस्टेंट उसकी उत्पाद यात्रा और देश की अपनी एआई के निर्माण की दिशा में पहला कदम है।
हालांकि, पिछले महीने, कुछ उपयोगकर्ताओं ने पाया कि चैटबॉट कह रहा था कि यह एक बड़ा भाषा मॉडल (LLM) था, जिसे ओपनएआई द्वारा बनाया गया था। ओला ने बाद में स्पष्ट किया कि यह एक "डेटा लीक मुद्दा" था।
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