दिल्ली की वायु गुणवत्ता ‘सामान्य’, रविवार को आंशिक सुधार की उम्मीद

Delhi air quality

भू विज्ञान मंत्रालय के वायु गुणवत्ता निगरानी ‘सफर’ ने बताया कि शनिवार को दिल्ली के एक्यूआई में प्रदूषण फैलाने वाले पीएम 2.5 कण की प्रमुखता रही लेकिन रविवार को इसमें सुधार होने की उम्मीद है।

नयी दिल्ली। राष्ट्रीय राजधानी में शनिवार को वायु गुणवत्ता उच्च मानक अंकों के साथ ‘सामान्य’ श्रेणी में दर्ज की गई और रविवार को इसमें आंशिक रूप से और सुधार होने की उम्मीद है। सरकारी मौसम पूर्वानुमान एजेंसी ने बताया कि गत 24 घंटे में दिल्ली का वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 197 रहा जो ‘सामान्य’ श्रेणी है लेकिन ‘खराब’ श्रेणी से महज चार अंक कम है। वहीं शुक्रवार को एक्यूआई 204 अंकों के साथ ‘ खराब’ श्रेणी में दर्ज किया किया। उल्लेखीय है कि शून्य से 50 तक के एक्यूआई को ‘अच्छा’, 51 से 100 तक को ‘संतोषजनक’, 101 से 200 तक को ‘सामान्य’, 201 से 300 को ‘खराब’, 301 से 400 को ‘बहुत खराब’ और 401 से 500 तक को ‘गंभीर’ श्रेणी में रखा जाता है। 

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भू विज्ञान मंत्रालय के वायु गुणवत्ता निगरानी ‘सफर’ ने बताया कि शनिवार को दिल्ली के एक्यूआई में प्रदूषण फैलाने वाले पीएम 2.5 कण की प्रमुखता रही लेकिन रविवार को इसमें सुधार होने की उम्मीद है। सफर ने कहा कि कुल मिलाकर दिल्ली का एक्यूआई उच्च अंकों के साथ ‘सामान्य’ श्रेणी में और‘खराब’ श्रेणी के करीब रहा जिसमें पीएम-2.5 प्रदूषक की बहुलता रही। सफर के मुताबिक कल आंशिक सुधार के साथ दिल्ली काएक्यूआई ‘सामान्य’ श्रेणी में बना रहेगा और 12 अक्टूबर को इसमें और सुधार आएगा लेकिन वायु गुणवत्ता सूचकांक ‘सामान्य’ श्रेणी में ही रहेगा। मौसम वैज्ञानिकों के मुताबिक बंगाल की खाड़ी में बने कम दबाव का क्षेत्र और मजबूत होने की उम्मीद है और जिसके पश्चिम-पश्चिमोत्तर की ओर बढ़ने और उत्तर एवं मध्य भारत के मौसम प्रणाली को प्रभावित करने की संभावना है। 

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मौसम पूर्वानुमान के मुताबिक दिल्ली में 12 अक्टूबर को सतह के नजदीक बहने वाली हवाओं की दिशा उत्तर पश्चिम सेमुड़कर दक्षिण पूर्व होने की संभावना है जिसका सकारात्मक असर आने वाले हफ्ते में वायु गुणवत्ता पर पड़ेगा। सफर ने बताया कि पड़ोसी राज्यों हरियाणा और पंजाब के इलाके में शनिवार को पराली जलाने की 253 घटनाएं दर्ज की गई। गौरतलब है कि श्रेणीवार प्रतिक्रिया कार्ययोजना के तहत 15 अक्टूबर से दिल्ली और पड़ोसी इलाकों में वायु प्रदूषण को नियंत्रित करने के उपाय लागू होने शुरू हो जाएंगे। पहली बार इसे दिल्ली-एनसीआर में वर्ष 2017 में लागू किया गया था। इनमें बस और मेट्रों की सेवा में बढ़ोतरी, पार्किंग शुल्क में वृद्धि और डीजल से चलने वाले जेनरेटर पर रोक के उपाय शामिल हैं।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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