पहली बार लोकसभा चुनाव जीतकर कैबिनेट में शामिल हुए Dr. Rajbhushan Chaudhary, संभालेंगे जलशक्ति मंत्रालय
राज भूषण चौधरी को केंद्र में राज्य मंत्री बनाया गया है। उन्हें सरकार में बतौर राज्यमंत्री जलशक्ति मंत्रालय की जिम्मेदारी सौंपी गई है। खास बात यह है कि चौधरी ने पहली बार चुनाव में जीत दर्ज की है। इतना ही नहीं वह मुकेश सहनी की विकासशील इंसान पार्टी के संस्थापक सदस्य रह चुके हैं।
मुजफ्फरपुर लोकसभा सीट से जीत दर्ज करने वाले राज भूषण चौधरी को केंद्र में राज्य मंत्री बनाया गया है। उन्हें सरकार में बतौर राज्यमंत्री जलशक्ति मंत्रालय की जिम्मेदारी सौंपी गई है। खास बात यह है कि चौधरी ने पहली बार चुनाव में जीत दर्ज की है। इतना ही नहीं वह मुकेश सहनी की विकासशील इंसान पार्टी के संस्थापक सदस्य रह चुके हैं। मुजफ्फरपुर से चुनाव जीतने वाले राजभूषण चौधरी निषाद को कुल 6,19,749 वोट मिले थे। उन्होंने कांग्रेस उम्मीदवार और दो बार भाजपा के टिकट पर सांसद रह चुके अजय निषाद को 2,34,927 वोटों से हराया था।
डॉक्टर राज भूषण चौधरी निषाद का जन्म 4 जुलाई 1977 को हुआ। शिक्षक इन्द्रदेव चौधरी और मां चंद्र देवी के पांच बच्चो में राजभूषण चौधरी निषाद सबसे छोटे बेटे है। दो भाई और तीन बहनों में सबसे छोटे राज भूषण ने अपनी प्रारंभिक पढ़ाई सरस्वती हाई स्कूल, कुंभी, बेगूसराय से की है। समस्तीपुर के हसनपुर कॉलेज से उन्होंने इंटर की परीक्षा पास करने के बाद पाटलिपुत्र मेडिकल कॉलेज, धनबाद से एमबीबीएस. की डिग्री हासिल की। इसके बाद दरभंगा मेडिकल कॉलेज से एम.डी. की पढ़ाई पूरी करके सीनियर रेजिडेंट के रूप में अपनी सेवा दी। बाद में वो दरभंगा मेडिकल कॉलेज को छोड़ कर गाजियाबाद स्थित एक अस्पताल में भी दी।
राजभूषण चौधरी का झुकाव बाद में चिकित्सा सेवा से राजनीति की ओर होने लगा। साल 2008 में वे संघ से जुड़े और तब से निरन्तर सक्रिय है। दरभंगा मेडिकल कॉलेज से एमडी की डिग्री लेने के बाद डॉ. कंचन माला (एम.बी.बी.एस., एम.डी.), स्त्री एवं प्रसूति रोग विशेषज्ञ से उन्होंने विवाह किया। शादी के बाद समस्तीपुर में उच्च कोटि की स्वास्थ्य सेवा को समर्पित आदर्श हॉस्पिटल की स्थापना के साथ अनीता चन्द्रा हेल्थकेयर प्राइवेट लिमिटेड की शुरुआत की। डॉ. राजभूषण चौधरी निषाद निषाद विकास संघ से कई सालों से जुड़े हुए हैं। वर्ष 2017 में वह मुकेश सहनी के संपर्क में आए और उनके पीछे-पीछे ही जातीय संगठन का काम करते रहे। निषाद विकास संघ के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष के नाते मल्लाह जाति को एससी-एसटी का दर्जा दिलाने के लिए राजभूषण चौधरी की सक्रियता दिखाई।
वर्ष 2022 के बोचहां उपचुनाव के दौरान ही अजय निषाद ने ही राजभूषण चौधरी को भाजपा में शामिल करवाया और प्रदेश भाजपा में उन्हें अच्छा पद भी मिला। इसके बाद इस चुनाव से पहले अचानक भाजपा ने अजय निषाद का टिकट काट दिया और राजभूषण निषाद को टिकट दिया। नाराज होकर अजय निषाद कांग्रेस में चले गए और मुजफ्फरपुर से राजभूषण चौधरी के खिलाफ चुनाव लड़ा लेकिन भारी मतों से हार गए। पहली बार लोकसभा चुनाव 2019 में वीआइपी से उम्मीदवार बने और चार लाख नौ हजार के बड़े अंतर से भाजपा के अजय निषाद से हार गए। हार से हिम्मत नहीं हारी और राजनीति की दिशा को बदला। वीआइपी से 2022 में भाजपा में आए। स्वच्छ छवि के कारण पार्टी हाईकमान तक पहुंचने में सफल रहे। भाजपा ने सांसद अजय निषाद का टिकट काट डा. राज भूषण को उम्मीदवार बना दिया। उनके ऊपर कोई आपराधिक मामला लंबित नहीं है।
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