डर और तनाव के कारण शोपियां के 10 कश्मीरी पंडित परिवार अपने घर छोड़कर जम्मू पहुंचे

Kashmiri Pandits
प्रतिरूप फोटो
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चौधरीगुंड के एक निवासी ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘‘10 कश्मीरी पंडित परिवार यानी समुदाय के 35 से 40 लोग डर और तनाव के कारण गांव छोड़कर जा चुके हैं।’’ उन्होंने कहा कि गांव अब खाली हो गया है

आतंकवादियों के बढ़ते लक्षित हमलों के मद्देनजर दक्षिण कश्मीर के शोपियां जिले के 10 कश्मीरी पंडित परिवार डर और तनाव के कारण अपने घर छोड़कर जम्मू आ गए हैं। गौरतलब है कि कश्मीर में आतंकवादियों द्वारा कश्मीरी पंडितों को निशाना बनाकर हमले करने की वारदातें हाल-फिलहाल में काफी बढ़ गई हैं। चौधरीगुंड के निवासियों ने बताया कि हाल ही में बढ़े आतंकवादी हमलों से समुदाय में तनाव और डर का माहौल कायम है। ये लोग 1990 के दशक से कश्मीर में रह रहे हैं, लेकिन मुश्किल से मुश्किल समय में उन्होंने अपने घर कभी नहीं छोड़े।

कश्मीरी पंडित पूरन कृष्ण भट की 15 अक्टूबर को शोपियां जिले के चौधरीगुंड गांव में उनके पुश्तैनी घर के बाहर आतंकवादियों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी। वहीं, शोपियां जिले में 18 अक्टूबर को आतंकवादियों द्वारा किए गए ग्रेनेड हमले में मोनीश कुमार और राम सागर मारे गए थे। चौधरीगुंड के एक निवासी ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘‘10 कश्मीरी पंडित परिवार यानी समुदाय के 35 से 40 लोग डर और तनाव के कारण गांव छोड़कर जा चुके हैं।’’ उन्होंने कहा कि गांव अब खाली हो गया है।

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एक अन्य ग्रामीण ने कहा, ‘‘कश्मीर घाटी में स्थिति हमारे लिए रहने लायक नहीं बची है। लगातार हो रही हत्याओं के कारण हम डर में जी रहे हैं। हमारे लिए कोई सुरक्षा व्यवस्था नहीं की गई है।’’ ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि बार-बार सुरक्षा मुहैया कराने की गुहार लगाने के बावजूद उनके गांव से बेहद दूर एक पुलिस चौकी बनाई गई है। उन्होंने कहा कि वे सेब की फसल सहित अपना सब कुछ घरों में छोड़ आए हैं। जम्मू पहुंचे ये लोग अभी अपने रिश्तेदारों के यहां रह रहे हैं।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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