Madhya Pradesh:: उज्जैन में तेज आंधी से ‘श्री महाकाल लोक’ गलियारे की छह मूर्तियां गिरकर टूटीं

Shri Mahakal Lok
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प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कुछ महीने पहले 900 मीटर लंबे श्री महाकाल लोक गलियारे के पहले चरण का लोकार्पण किया था। कुल 856 करोड़ रुपये की लागत वाली इस परियोजना के पहले चरण में ‘श्री महाकाल लोक’ को 351 करोड़ रुपये की लागत से तैयार किया गया है।

उज्जैन। मध्य प्रदेश के उज्जैन स्थित प्रसिद्ध महाकालेश्वर मंदिर में ‘श्री महाकाल लोक’ गलियारे की छह मूर्तियां रविवार दोपहर आयी तेज आंधी के चलते गिरकर क्षतिग्रस्त हो गईं। यह जानकारी एक अधिकारी ने दी। उन्होंने बताया कि जब मूर्तियां गिरीं तो यह गलियारा श्रद्धालुओं से खचाखच भरा हुआ था, लेकिन कोई भी व्यक्ति हताहत नहीं हुआ। उन्होंने स्वीकार किया कि मूर्तियों और गलियारे के काम में गुजरात की कंपनियों को लगाया गया था। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कुछ महीने पहले 900 मीटर लंबे श्री महाकाल लोक गलियारे के पहले चरण का लोकार्पण किया था। कुल 856 करोड़ रुपये की लागत वाली इस परियोजना के पहले चरण में ‘श्री महाकाल लोक’ को 351 करोड़ रुपये की लागत से तैयार किया गया है।

देश के 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक महाकालेश्वर का मंदिर उज्जैन में स्थित है। यहां देश-विदेश से बड़ी संख्या में श्रद्धालु आते हैं। उज्जैन के जिलाधिकारी कुमार पुरुषोत्तम ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया, ‘‘श्री महाकाल लोक गलियारे में 160 मूर्तियां हैं, जिनमें से आज दोपहर आयी तेज आंधी से छह मूर्तियां गिरकर टूट गईं। ये टूटी मूर्तियां वहां स्थापित किये गये सात सप्त ऋषियों में से हैं और करीब 10 फीट ऊंची थी। ठेकेदार नयी मूर्तियां लगाएंगे, क्योंकि पांच साल तक की देखरेख का जिम्मा भी उनका ही है। हम आगे के लिए भी नियम और सख्त कर रहे हैं और उनकी जवाबदारी तय करने वाले हैं।’’ पुरुषोत्तम ने स्पष्ट किया, ‘‘ये गिरकर टूटी हुई मूर्तियां महाकाल मंदिर के अंदर नहीं थीं। वे ‘श्री महाकाल लोक’ गलियारे में थीं।’’

उन्होंने कहा कि गलियारे को आंधी-तूफान आने के बाद करीब शाम चार बजे लोगों के लिए बंद कर दिया गया था। उनके अनुसार इसे शाम सात बजे फिर से आम जनता के लिए खोला गया और इस दौरान करीब एक लाख लोग वहां उमड़ पड़े। उन्होंने कहा कि आज की तेज आंधी से उज्जैन जिले में दो लोगों की मौत भी हुई है। उन्होंने कहा कि इसके अलावा, जिले में तूफान से कुछ घर भी गिरने की सूचना मिली है। इसी बीच, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने ट्वीट किया, ‘‘मध्य प्रदेश की तत्कालीन कांग्रेस सरकार ने जब उज्जैन में महाकाल मंदिर परिसर का भव्य निर्माण करने का संकल्प लिया था तब इस बात की कल्पना नहीं की थी कि बाद की (भाजपा नीत) सरकार महाकाल लोक के निर्माण में भी गंभीर अनियमितता करेगी।’’

उन्होंने कहा, ‘‘आज जिस तरह से महाकाल लोक परिसर (गलियारा) में आंधी चलने से देव प्रतिमाएं जमीन पर गिर गईं, वह दृश्य किसी भी धार्मिक व्यक्ति के लिए अत्यंत करुण दृश्य है। मैं मुख्यमंत्री से मांग करता हूं कि महाकाल लोक में जो प्रतिमाएं गिरी हैं, वहां नई प्रतिमाएं तुरंत स्थापित की जाएं और घटिया निर्माण करने वालों को जांच कर दंडित किया जाए।’ कांग्रेस नेता एवं पूर्व केन्द्रीय मंत्री अरूण यादव ने ट्वीट किया, ‘‘उज्जैन महाकुंभ में करोड़ों रुपये का घोटाला करने वाली भाजपा सरकार के 50 फीसदी कमीशन के चक्कर में महाकाल लोक गलियारा में लगायी गयीं करोड़ों रुपये की मूर्तियां मानसून से पहले हुई आंधी-बारिश में ही धराशायी हो गई एवं महाकाल लोक की आधी से ज्यादा कुर्सियां टूट गई हैं।’’ ट्वीट करने के बाद यादव ने फोन पर पीटीआई-से कहा कि भाजपा सरकार भगवान को भी नहीं बख्श रही है और आज महाकाल मंदिर में विकास से भ्रष्टाचार की बू आ रही है।

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स्थानीय मौसम की स्थिति के बारे में फोन पर बात करते हुए भारत मौसम विज्ञान विभाग के भोपाल केंद्र के ड्यूटी अधिकारी जे पी विश्वकर्मा ने पीटीआई-को बताया कि रविवार के पूर्वानुमान में कहा गया है कि उज्जैन में अलग-अलग स्थानों पर दिन के दौरान 40 से 50 किलोमीटर प्रतिघंटे की रफ्तार से तेज हवाएं चलेंगी। उन्होंने यह भी कहा, ‘‘उज्जैन में हवा की गति को मापने के लिए उज्जैन में हमारे पास एक स्वचालित मौसम स्टेशन नहीं है। हम इसकी मांग करेंगे।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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