NEET UG के खिलाफ प.बंगाल में प्रदर्शन, TMC ने न्यायालय की निगरानी में जांच की मांग की
पश्चिम बंगाल में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस ने नीट-यूजी मुद्दे पर छात्रों के साथ एकजुटता व्यक्त करते हुए, उच्चतम न्यायालय की निगरानी में जांच की मांग की। एआईडीएसओ के सदस्य नारे लगाते हुए विकास भवन की ओर बढ़ रहे थे लेकिन पुलिस ने उन्हें रोक लिया।
कोलकाता। राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा-स्नातक (नीट-यूजी) 2024 में कथित अनियमितताओं और राजकीय कॉलेजों में दाखिला शुरू होने में देरी का आरोप लगाते हुए ‘ऑल इंडिया डेमोक्रेटिक स्टूडेंट्स ऑर्गनाइजेशन’ (एआईडीएसओ) के सदस्यों ने यहां साल्ट लेक इलाके में पश्चिम बंगाल के उच्च शिक्षा विभाग के मुख्यालय के पास विरोध प्रदर्शन किया। पश्चिम बंगाल में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस ने नीट-यूजी मुद्दे पर छात्रों के साथ एकजुटता व्यक्त करते हुए, उच्चतम न्यायालय की निगरानी में जांच की मांग की। एआईडीएसओ के सदस्य नारे लगाते हुए विकास भवन की ओर बढ़ रहे थे लेकिन पुलिस ने उन्हें रोक लिया।
पुलिस ने शुरू में प्रदर्शनकारियों को शांत करने और उन्हें इलाके से हटाने की कोशिश की। लेकिन जब प्रदर्शनकारी आगे बढ़ने पर अड़े रहे, तो पुलिस ने उनमें से कुछ को हिरासत में ले लिया और उन्हें वाहनों में वहां से ले गयी। प्रदर्शनकारियों में से एक ने दावा किया कि नीट-यूजी विवाद के कारण कई आकांक्षी डॉक्टरों का भविष्य खतरे में पड़ गया है। उन्होंने कहा, ‘‘इसके साथ ही, छात्रों में निराशा बढ़ रही है क्योंकि उच्चतर माध्यमिक परिणाम घोषित होने के एक महीने बाद भी, सरकारी कॉलेजों में दाखिला शुरू नहीं हुआ है, जबकि निजी कॉलेजों में नामांकन प्रक्रिया पहले ही शुरू हो चुकी है।’’
तृणमूल प्रवक्ता शांतनु सेन ने आरोप लगाया कि भाजपा नीत केंद्र सरकार छात्रों के भविष्य से खेल रही है। उन्होंने कहा, यह भाजपा नीत केंद्र सरकार के सबसे बड़े घोटालों में से एक है। भाजपा लाखों छात्रों के भविष्य से खेलवाड़ कर रही है। हम इस पूरे नीट-यूजी घोटाले की उच्चतम न्यायालय की निगरानी में जांच की मांग करते हैं, जिससे करीब 24 लाख छात्र प्रभावित हुए हैं।
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इससे पहले, केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने नीट-यूजी के पेपर लीक होने के आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि इसका कोई सबूत नहीं है। केंद्र सरकार ने उच्चतम न्यायालय में कहा कि मेडिकल शिक्षा के विभिन्न पाठ्यक्रमों में प्रवेश के लिए 1,563 नीट-यूजी उम्मीदवारों को कृपांक दिए जाने का फैसला रद्द कर दिया गया है और उन्हें 23 जून को फिर से परीक्षा देने का विकल्प दिया जाएगा।
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