IIMC के महानिदेशक प्रो. द्विवेदी, भारत में हैं 335 कम्युनिटी रेडियो स्टेशन

Sanjay Dwivedi

प्रो. द्विवेदी ने कहा कि हमें ये समझना होगा कि आखिर हमें किसका साथ चाहिए और इससे किसका विकास होगा। उन्होंने कहा कि हमें समुदाय, प्रशासन और सरकार का साथ चाहिये और इससे समाज के उन लोगों का विकास होगा, जिन तक शासन और प्रशासन की पहुंच नहीं है।

नई दिल्ली। भारत में 335 कम्युनिटी रेडियो स्टेशन हैं, जिनकी पहुंच देश की लगभग 10 करोड़ आबादी तक है। संकट के समय लोगों को सशक्त बनाने में कम्युनिटी रेडियो की महत्वपूर्ण भूमिका है। समुदाय एवं उसमें रहने वाले लोगों को जोड़कर ही 'सबका साथ सबका विकास' संभव हो सकता है।'' यह विचार भारतीय जन संचार संस्थान (आईआईएमसी) के महानिदेशक प्रो. संजय द्विवेदी ने सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय तथा वन वर्ल्ड फाउंडेशन इंडिया द्वारा आयोजित 'कम्युनिटी रेडियो जागरुकता कार्यशाला' के समापन समारोह में व्यक्त किए। कार्यक्रम में सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय के कम्युनिटी रेडियो सेल के अपर निदेशक गौरीशंकर केसरवानी, वन वर्ल्ड फाउंडेशन इंडिया के प्रबंध निदेशक राजीव टिक्कू एवं आभा नेगी भी उपस्थित थी। 

इसे भी पढ़ें: हिंदी पखवाड़ा समारोह में बोले आईआईएमसी के महानिदेशक, सकारात्मक मीडिया से बनेगा नया भारत 

प्रो. द्विवेदी ने कहा कि हमें ये समझना होगा कि आखिर हमें किसका साथ चाहिए और इससे किसका विकास होगा। उन्होंने कहा कि हमें समुदाय, प्रशासन और सरकार का साथ चाहिये और इससे समाज के उन लोगों का विकास होगा, जिन तक शासन और प्रशासन की पहुंच नहीं है।

प्रो. द्विवेदी के मुताबिक कम्युनिटी रेडियो सिर्फ समस्याओं की और ध्यान नहीं दिलाता, बल्कि उनका समाधान करने का प्रयास भी करता है। कोरोना महामारी के दौर में उत्तराखंड में 6 स्टेशनों ने मिलकर 'एक उम्मीद नेटवर्क' बनाया, जिसके द्वारा कोरोना से बचाव के उपाय लोगों को बताये गए। महामारी के इस दौर में प्रशासन को भी ये एहसास हुआ कि लोगों तक जानकारी पहुंचाने में कम्युनिटी रेडियो की महत्वपूर्ण भूमिका है।

प्रो. द्विवेदी ने कहा कि सामुदायिक रेडियो स्टेशन लोगों से उनकी भाषा में संचार करते हैं, जिससे न सिर्फ भाषा के बचाव में योगदान होता है, बल्कि अगली पीढ़ी तक उसका विस्तार भी होता है। कम्युनिटी रेडियो लोकगीतों के माध्यम से न सिर्फ संस्कृति का प्रचार प्रसार करते हैं, बल्कि सरकारी योजनाओं की जानकारी भी लोगों तक पहुंचाते हैं।

आईआईएमसी के महानिदेशक के अनुसार मौजूदा दौर में कम्युनिटी रेडियो पर विज्ञापन का अनुपात 7 मिनट प्रति घंटा है, जिसे बढ़ाकर 12 मिनट प्रति घंटा किये जाने की तैयारी शुरू हो चुकी है। इस बढ़े हुए समय से कम्युनिटी रेडियो को आर्थिक लाभ होगा और अपने लिए वित्तीय संसाधन जुटाने में मदद मिलेगी। इसके अलावा भारत सरकार ने देश में कम्युनिटी रेडियो समर्थन अभियान चला रखा है, जिसके लिए 25 करोड़ रुपये की राशि आवंटित की गई है। इस अभियान के तहत कम्युनिटी रेडियो स्टेशन की स्थापना का लगभग 75 फीसदी हिस्सा केंद्र सरकार देती है।

We're now on WhatsApp. Click to join.
All the updates here:

अन्य न्यूज़