राजस्थान में दिव्यांगजनों के लिए अंतरराष्ट्रीय विश्वविद्यालय बनेगा: राजे
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राजस्थान की मुख्यमंत्री वसुन्धरा राजे ने कहा कि प्रदेश के करीब 15 लाख दिव्यांगजनों को सक्षम और स्वावलंबी बनाने का काम किया जायेगा और इसके लिए विशेष अंतरराष्ट्रीय विश्वविद्यालय स्थापित करने की योजना बनायी जा रही है।
जयपुर। राजस्थान की मुख्यमंत्री वसुन्धरा राजे ने कहा कि प्रदेश के करीब 15 लाख दिव्यांगजनों को सक्षम और स्वावलंबी बनाने का काम किया जायेगा और इसके लिए विशेष अंतरराष्ट्रीय विश्वविद्यालय स्थापित करने की योजना बनायी जा रही है। राजे ने यहां पंडित दीनदयाल उपाध्याय विशेष योग्यजन अभियान के दूसरे चरण के शुभारंभ समारोह को संबोधित कर करते हुए कहा कि राज्य सरकार दिव्यांगजनों के कल्याण के लिए पूरी तरह संवेदनशील है। विशेष योग्यजनों को समर्पित इस अंतरराष्ट्रीय विश्वविद्यालय के लिए राज्य सरकार की एक अन्य अंतरराष्ट्रीय विश्वविद्यालय से बातचीत चल रही है। उन्होंने कहा,‘‘ दिव्यांगजन समाज के महत्वपूर्ण अंग हैं और उन्हें संबल प्रदान करना हमारी सामूहिक जिम्मेदारी है।’’
मुख्यमंत्री ने 13 दिसम्बर से शुरू होने वाले अभियान के तीसरे चरण में विधायक कोष के सहयोग से दिव्यांगजनों को ट्राइसाइकिल उपलब्ध कराने, प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना से प्रदेश के सभी पात्र दिव्यांगजनों को जोड़ने तथा 25 हजार तृतीय श्रेणी शिक्षकों की भर्ती की घोषणा भी की। उन्होंने कहा कि इस भर्ती के बाद अब शिक्षकों के रिक्त पदों की समस्या नहीं रहेगी। राजे ने तीन विशेष योग्यजनों को प्रदेश के पहले यूनिक डिसएबिलिटी आईडी कार्ड तथा पांच अन्य विशेष योग्यजनों को डिसएबिलिटी सर्टिफिकेट और सहायक उपकरण प्रदान किए। उन्होंने कहा कि राजस्थान देश का ऐसा राज्य बन गया है जहां दिव्यांगजनों के कल्याण के लिए संवेदनशील नजरिए के साथ एक जून से पंडित दीनदयाल उपाध्याय विशेष योग्यजन अभियान व्यापक स्तर पर शुरू किया गया है।
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