श्रीसंत को आरोप मुक्त करने के खिलाफ अपील का जुलाई तक फैसला हो: SC

Decide Appeal Against Sreesanth''s Discharge in IPL Spot-fixing, says SC to HC
[email protected] । May 15 2018 3:29PM

उच्चतम न्यायालय ने दिल्ली उच्च न्यायालय से कहा कि सनसनीखेज आईपीएल स्पाट फिक्सिंग मामले में श्रीसंत सहित कई खिलाड़ियों को आरोप मुक्त करने के निचली अदालत के फैसले के खिलाफ दायर अपील का जुलाई के अंत तक फैसला किया जाये।

नयी दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने दिल्ली उच्च न्यायालय से कहा कि सनसनीखेज आईपीएल स्पाट फिक्सिंग मामले में श्रीसंत सहित कई खिलाड़ियों को आरोप मुक्त करने के निचली अदालत के फैसले के खिलाफ दायर अपील का जुलाई के अंत तक फैसला किया जाये। श्रीसंत ने केरल उच्च न्यायालय के फैसले को उच्चतम न्यायालय में चुनौती दी है।

भारतीय क्रिकेट नियंत्रण बोर्ड ने श्रीसंत पर आजीवन खेलने पर प्रतिबंध लगाया था। इस प्रतिबंध को केरल उच्च न्यायालय ने सही ठहराया था। प्रधान न्यायाधीश दीपक मिश्रा, न्यायमूर्ति ए एम खानविलकर और न्यायमूर्ति धनन्जय वाई चन्द्रचूड़ की खंडपीठ ने कहा कि वह क्रिकेट खिलाड़ी की क्रिकेट खेलने की उत्सुकता को समझती है परंतु निचली अदालत के फैसले के खिलाफ दिल्ली पुलिस की अपील पर उच्च न्यायालय के निर्णय का इंतजार करेगी।

श्रीसंत ने अंतरिम निर्देश देने का अनुरोध किया कि आईपीएल स्पाट फिक्सिंग मामले में आरोप मुक्त किये जाने के तथ्य के मद्देनजर उसे इंग्लिश काउन्टी क्रिकेट में खेलने की अनुमति दी जानी चाहिए। उसका कहना है कि वह चार साल से इस प्रतिबंध का दंश सह रहा है। दिल्ली पुलिस ने श्रीसंत और दो अन्य खिलाड़ियों अजित चंदीला तथा अंकित चव्हाण को 2013 में आईपीएल के दौरान स्पाट फिक्सिंग के आरोप में गिरफ्तार किया था।

केरल उच्च न्यायालय की एकल पीठ ने पिछले साल सात अगस्त को श्रीसंत पर लगा आजीवन प्रतिबंध हटा लिया था लेकिन उच्च न्यायालय की खंडपीठ ने क्रिकेट नियंत्रण बोर्ड की अपील पर श्रीसंत पर आजीवन प्रतिबंध फिर से बहाल कर दिया था। स्पाट फिक्सिंग मामले में श्रीसंत, चव्हाण और चंदीला सहित सभी 36 आरोपियों को जुलाई , 2015 में निचली अदालत ने आरोप मुक्त कर दिया था। हालांकि बोर्ड ने इस फैसले के बावजूद अपना अनुशासनात्मक निर्णय बदलने से इंकार कर दिया था।

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