कोलकाता आये हैं तो इन जगहों पर जरूर जाएं, मन प्रसन्न हो जायेगा

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सुषमा तिवारी । Oct 29 2018 3:33PM

कोलकाता एक ऐतिहासिक शहर है... जहां का हर रंग निराला है। शहर की ट्रॉम सवारी से लेकर हुगली नदी की नाव की सवारी तक, कोलकाता में ऐसी कई जगह हैं जहां जाकर ऐसा लगता है कि ये शहर सचमुच अद्‌भुत हैं।

कोलकाता एक ऐतिहासिक शहर है... जहां का हर रंग निराला है। शहर की ट्रॉम सवारी से लेकर हुगली नदी की नाव की सवारी तक, कोलकाता में ऐसी कई जगह हैं जहां जाकर ऐसा लगता है कि ये शहर सचमुच अद्‌भुत हैं। कहते हैं इस शहर में बहुत कुछ है देखने व घूमने-फिरने के लिए लेकिन आज हम आपको उन चार जगहों के बारे के बताएंगे जो कोलकाता की शान हैं। 


विक्टोरिया मेमोरियल

कोलकाता की पहचान है विक्टोरिया मेमोरियल, यह कोलकाता के सबसे लोकप्रिय दर्शनीय स्थलों में सबसे महत्वपूर्ण है। भारी संख्या में देश-विदेश से लोग आते हैं विक्टोरिया मेमोरियल को देखने के लिए। ये मेमोरियल महारानी विक्टोरिया की याद में सन् 1901 में वायसराय लॉर्ड कर्जन ने बनवाया था। इस मेमोरियल को बनवाने में उस समय 20 साल का टाइम लगा था। ये मेमोरियल 1901 में बनना शुरू हुआ था और 1921 में बन कर समाप्त हुआ था। यह इमारत ब्रिटिश शासनकाल की भारत में एक अमूल्य धरोहर है। यह इमारत सफेद संगमरमर से तैयार आगरा का ताजमहल और लंदन के सेंट पॉल कैथेड्रल की शिल्पकला को समेटे हुए है। इस इमारत में भिन्न भिन्न प्रकार के 25 कक्ष बने हैं जिनमें महारानी विक्टोरिया से संबंधित लगभग 3500 वस्तुएं सैलानियों के दर्शन हेतु संग्रह करके रखी गई हैं। यह मेमोरियल सुबह 10 बजे से शाम 5 बजे तक खुला रहता है। सोमवार को यह संग्रहालय बंद रहता है।

हावड़ा ब्रिज

हावड़ा ब्रिज गेटवे ऑफ कोलकाता के नाम से भी मशहूर है। इस ब्रिज को नोबेल पुरस्कार विजेता रवींद्र नाथ टैगोर के नाम पर रवींद्र सेतु भी कहा जाता है। देश-विदेश के पर्यटकों के अलावा यह सत्यजित रे से लेकर रिचर्ड एटनबरो और मणिरत्नम जैसे फिल्मकारों को भी लुभाता रहा है। हावड़ा पुल यह नाम दुनिया भर में प्रसिद्ध है। हावड़ा ब्रिज हावड़ा और कोलकाता को जोड़ता है। यह ब्रिज ऐतिहासिक है। यह पूरा पुल पूरी तरह से लोहे से बनाया गया है जिसमें 2590 टन बढ़िया क्वालिटि का लोहा लगा हुआ है। यह पुल 1500 फुट लंबा और 71 फुट चौड़ा है। यह अपने तरह का छठवाँ सबसे बड़ा पुल है। 

शहीद मीनार

नेपाल युद्ध के दौरान सेना के नायक के रूप में उभरे सर डेविड डॉक्टर लोनी की याद में शहीद मीनार का निर्माण हुआ। यह मीनार दिल्ली के कुतुबमीनार की तर्ज पर बनी है। इस मीनार की ऊचांई 158 फुट है। इसकी खास बात यह है कि अगर आप इस मीनार पर चढ़ जाते हैं तो पूरे शहर का नजारा देख सकते हैं। 

साइंस सिटी

अगर आप को अंतरिक्ष, स्पेस या विज्ञान के कारनामों को जानने का शौक है तो आपका कोलकाता की साइंस सिटी इंतजार कर रही है। यहां पर रखी विचित्र चीजें आपको चौंका देंगी। थियेटर स्पेस फ्लाई व सरी सृप वर्ग के कई जंतुओं के नमूने देखने वाले के लिए रखे गये हैं। यहां डायनासोरों की विभिन्न प्रजातियों को भी दर्शाया गया है। साइंस सिटी का उद्घाटन 1 जुलाई 1997 को किया गया। साइंस सिटी विज्ञान और प्रौद्योगिकी को स्फूर्तिप्रद और रोचक वातावरण प्रदान करती है जो कि हर उम्र के लोगों के लिए सही मायने में शैक्षिक और आनंददायक है।

-सुषमा तिवारी

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