लव जिहाद का एक और खौफनाक अंजाम, प्रेमी आफताब ने प्रेमिका श्रद्धा के शरीर के 35 टुकड़े कर डाले

aftab shraddha
Prabhasakshi

बताया जा रहा है कि आफताब और श्रद्धा नाम की युवती की दोस्ती मुंबई में एक कॉल सेंटर में काम करने के दौरान हुई थी। यह दोस्ती धीरे-धीरे प्यार में बदल गई। जब श्रद्धा के परिजनों को इसका पता चला तो उन्होंने विरोध करना शुरू कर दिया।

प्यार का अंजाम कभी कभी बुरा भी होता है यह तो सभी जानते हैं लेकिन प्यार का अंजाम कभी कभी खौफनाक भी हो जाता है। जी हाँ, राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली से अपराध का एक ऐसा मामला सामने आया है जोकि किसी की भी रुह को कँपाने की ताकत रखता है। दिल्ली के आफताब नामक एक शख्स ने पहले तो मुंबई की श्रद्धा नामक लड़की को प्यार के जाल में फँसाया और उसके बाद उसे लिव-इन में रहने के लिए मनाया। जब श्रद्धा के घरवालों ने इस रिश्ते का विरोध किया तो दोनों दिल्ली रहने आ गये और महरौली इलाके में रहने लगे। कुछ दिनों बाद श्रद्धा ने आफताब पर शादी के लिए दबाव बनाना शुरू किया तो आफताब को यह पसंद नहीं आया। रिपोर्टों के मुताबिक आफताब ने पहले तो श्रद्धा की गला दबाकर हत्या कर दी और उसके बाद उसके शव के 35 टुकड़े कर डाले।

आफताब के सामने अब चुनौती यह थी कि वह श्रद्धा के शव के टुकड़ों को ठिकाने कैसे लगाये तो इसके लिए इस निर्मम हत्यारे ने 300 लीटर का एक फ्रीज खरीदा ताकि वह उसमें शव के टुकड़ों को रख दें। आफताब ने चूंकि 18 मई को श्रद्धा की हत्या की थी और उस समय भयंकर गर्मी में शव के टुकड़ों की बदबू आसपास के लोगों के बीच फैल सकती थी इस डर से आफताब फ्रीज लेकर आया और उसमें शव के टुकड़े भर दिये। इसके बाद वह रोज रात को दो बजे घर से शव के कुछ टुकड़ों को पॉलिथीन बैग में लेकर निकलता था और अलग-अलग इलाकों में उन्हें फेंक कर आ जाता था जिससे किसी को शक नहीं हो।

बताया जा रहा है कि आफताब और श्रद्धा नाम की युवती की दोस्ती मुंबई में एक कॉल सेंटर में काम करने के दौरान हुई थी। यह दोस्ती धीरे-धीरे प्यार में बदल गई। जब श्रद्धा के परिजनों को इसका पता चला तो उन्होंने विरोध करना शुरू कर दिया। जिसके चलते श्रद्धा और आफताब भाग कर दिल्ली आ गये। इस दौरान श्रद्धा के परिवार वाले सोशल मीडिया के जरिए उसकी जानकारी लेते रहते थे। लेकिन जब सोशल मीडिया पर अपडेट आना बंद हो गया, तब लड़की के पिता दिल्ली पहुंचे और अपनी बेटी की काफी खोजबीन की। जब वह नहीं मिली तो उन्होंने पुलिस के समक्ष मुकदमा दर्ज कराया क्योंकि परिजनों का श्रद्धा से छह महीने से संपर्क नहीं हो पा रहा था। पुलिस ने मुकदमा दर्ज करने के बाद आफताब की तलाश शुरू कर दी और एक गुप्त सूचना के आधार पर उसे धर दबोचा।

पकड़े जाने पर पहले तो आफताब ने पुलिस को गुमराह करने की कोशिश की लेकिन जब पुलिस ने सख्ती से पूछताछ की तो आरोपी ने उसकी हत्या की बात कबूल ली। पुलिस की पूछताछ में आरोपी ने बताया कि श्रद्धा उस पर लगातार शादी का दबाव बना रही थी जिससे उनके बीच झगड़ा शुरू हो गया था जिसके बाद उसने मई के महीने में श्रद्धा की हत्या कर शव के 35 टुकड़े कर उन्हें विभिन्न इलाकों में फेंक दिया था। पुलिस ने आरोपी से पूछताछ के बाद उसकी निशानदेही पर कुछ जगहों से हडि्डयां बरामद की हैं।

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इस बीच, दिल्ली में छह महीने पहले हुई इस हत्या की खबर सुनकर सभी के रौंगटे खड़े हो गये हैं क्योंकि आरोपी आफताब ने बड़ी निर्ममता के साथ श्रद्धा की जान ली। बताया जा रहा है कि श्रद्धा इंस्टाग्राम पर काफी ऐक्टिव थी। उसकी पोस्टों पर नजर डालें तो पता चलता है कि वह अपनी दुनिया में खुश नजर आ रही थी। श्रद्धा ने इंस्टाग्राम पर आखिरी बार जो पोस्ट डाली थी उसके मुताबिक उसने 11 मई को गार्डन कैफे लिखकर एक किताब पढ़ते हुए अपनी तस्वीर शेयर की थी। इसके कुछ दिन बाद यानि 18 मई को आफताब ने उसकी हत्या कर दी। इसके अलावा श्रद्धा की सोशल मीडिया पर डाली गई तस्वीरों से यह भी पता चलता है कि वह काफी स्टाइलिश थीं। उसका हेयर स्टाइल और ड्रेस सेंस बिल्कुल अलग था। लेकिन उसकी एक गलती उसकी जान पर भारी पड़ गयी। गलती थी परिजनों से ज्यादा आफताब पर भरोसा करना। इस बीच सोशल मीडिया पर भी यह मामला तूल पकड़ता जा रहा है। लोग इसे लव जिहाद से जोड़कर देख रहे हैं। वहीं दिल्ली पुलिस का कहना है कि आरोपी से पूछताछ जारी है और इस संबंध में जो भी नई चीज सामने आयेगी वह सामने रखी जायेगी।

इस बीच, श्रद्धा के पिता ने मीडिया को बताया है कि आफताब और श्रद्धा कुछ दिनों तक मुंबई में भी साथ रहे थे। उन्होंने बताया है कि श्रद्धा के दोस्तों ने उसके भाई को बताया था कि दो ढाई महीने से उसका फोन बंद आ रहा है। श्रद्धा के परिजनों ने भी कहा है कि श्रद्धा उन्हें बताती थी कि आफताब उसे मारता-पीटता है। बहरहाल, यह मामला जितना सनसनीखेज है उससे ज्यादा चेतावनी भी देता है क्योंकि आज के दौर में परिजनों का विरोध कर बाहरी पर विश्वास करने का चलन युवाओं पर भारी पड़ रहा है।

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