भारत का औषधि निर्यात 2023-24 में 10 प्रतिशत बढ़कर 27.9 अरब डॉलर पर : Commerce Ministry

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वित्त वर्ष 2023-24 में देश का औषधि निर्यात सालाना आधार पर 9.67 प्रतिशत बढ़कर 27.9 अरब अमेरिकी डॉलर हो गया। यह निर्यात वित्त वर्ष 2022-23 में निर्यात 25.4 अरब डॉलर था। वाणिज्य मंत्रालय ने जानकारी दी कि मार्च माह में दवा निर्यात 12.73 प्रतिशत बढ़कर 2.8 अरब डॉलर हो गया है।

नयी दिल्ली । देश का औषधि निर्यात वित्त वर्ष 2023-24 में सालाना आधार पर 9.67 प्रतिशत बढ़कर 27.9 अरब अमेरिकी डॉलर हो गया। इससे पूर्व वित्त वर्ष 2022-23 में निर्यात 25.4 अरब डॉलर था। वाणिज्य मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक, मार्च माह में दवा निर्यात 12.73 प्रतिशत बढ़कर 2.8 अरब डॉलर हो गया। वित्त वर्ष 2023-24 में इस क्षेत्र के लिए शीर्ष पांच निर्यात बाजार अमेरिका, ब्रिटेन, नीदरलैंड, ब्रिटेन, दक्षिण अफ्रीका और ब्राजील थे। 

भारत के कुल औषधि निर्यात में अमेरिका की हिस्सेदारी 31 प्रतिशत से अधिक रही। एक उद्योग विशेषज्ञ ने कहा कि अमेरिका जैसे देशों में बढ़ते बाजार अवसरों और मांग से निर्यात को मासिक आधार पर वृद्धि दर्ज करने में मदद मिल रही है। विशेषज्ञों ने कहा कि भारत का दवा उद्योग का कारोबार 2030 तक 130 अरब अमेरिकी डॉलर से अधिक हो सकता है। 

बाजार के अवसरों के विस्तार तथा विदेशी बाजारों में बढ़ती मांग के दम पर यह हो पाएगा। वित्त वर्ष 2022-23 में कारोबार 50 अरब अमेरिकी डॉलर से अधिक रहा था। भारत औसतन हर महीने दो से तीन अरब डॉलर के औषधि उत्पादों का निर्यात करता है। देश का दवा उद्योग दुनिया में मात्रा के हिसाब से तीसरा सबसे बड़ा और मूल्य के हिसाब से 13वां सबसे बड़ा उद्योग है, जो 60 चिकित्सीय श्रेणियों में 60,000 से अधिक जेनेरिक दवाओं का उत्पादन करता है। सरकार ने प्रमुख दवा सामग्री और जेनेरिक दवाओं के घरेलू विनिर्माण को बढ़ावा देने के लिए उत्पादन संबंधी प्रोत्साहन (पीएलआई) दो योजनाएं शुरू की हैं।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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