डिजिटल भुगतान बढ़ने के बावजूद भी ATM से मासिक नकदी निकासी 5.5 प्रतिशत बढ़ीः CMS रिपोर्ट

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भारत में एटीएम मशीनों में नकदी का प्रबंधन करने वाली कंपनी सीएमएस इंफोसिस्टम्स ने कहा कि वित्त वर्ष 2023-24 में एटीएम से मासिक औसत नकदी निकासी 5.51 प्रतिशत बढ़कर 1.43 करोड़ रुपये हो गई है। रिपोर्ट में कहा गया है कि यूपीआई से डिजिटल भुगतान बढ़ने के बावजूद एटीएम से औसत मासिक नकदी निकासी सालाना आधार पर बढ़ी है।

मुंबई । देश भर की एटीएम मशीनों में नकदी का प्रबंधन करने वाली कंपनी सीएमएस इंफोसिस्टम्स ने सोमवार को कहा कि एटीएम से मासिक औसत नकदी निकासी वित्त वर्ष 2023-24 में 5.51 प्रतिशत बढ़कर 1.43 करोड़ रुपये हो गई। सीएमएस इंफोसिस्टम्स ने अपनी वार्षिक रिपोर्ट में कहा कि यूपीआई से डिजिटल भुगतान बढ़ने के बावजूद स्वचालित निकासी मशीन (एटीएम) से औसत मासिक नकदी निकासी सालाना आधार पर बढ़ी है। वित्त वर्ष 2022-23 में यह आंकड़ा 1.35 करोड़ रुपये था। 

रिपोर्ट के मुताबिक, महानगरों में औसत नकदी निकासी पिछले वित्त वर्ष में 10.37 प्रतिशत बढ़ी है जबकि कस्बों एवं ग्रामीण क्षेत्रों में यह 3.94 प्रतिशत और शहरों में 3.73 प्रतिशत की दर से बढ़ा है। देश के लगभग आधे एटीएम का प्रबंधन करने वाली कंपनी की यह रिपोर्ट कहती है कि मेट्रो शहरों में एटीएम से नकदी निकासी 37.49 प्रतिशत बढ़ी है, जबकि कस्बों एवं देहात में एटीएम से नकदी निकासी में 12.50 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई है। सरकारी बैंकों के 49 प्रतिशत एटीएम महानगरीय और शहरी क्षेत्रों में स्थित हैं जबकि निजी क्षेत्र के बैंकों के मामले में यह अनुपात 64 प्रतिशत है। 

दोनों ही वर्गों के बाकी एटीएम कस्बों एवं ग्रामीण क्षेत्रों में हैं। रिपोर्ट के मुताबिक, एक एटीएम से 1.83 करोड़ रुपये की वार्षिक औसत निकासी के साथ कर्नाटक देश में सबसे आगे है। इसके बाद 1.82 करोड़ रुपये के साथ दिल्ली दूसरे और 1.62 करोड़ रुपये के साथ पश्चिम बंगाल तीसरे स्थान पर है।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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