Bhool Chuk Maaf Review: दिल से निकली बातों का असरदार सफर है यह फिल्म!

Bhool Chuk Maaf
Instagram @rajkummar_rao

अगर आप ऐसी फिल्मों के दीवाने हैं जो दिल से निकली बातें दिल तक पहुंचाती हैं, तो ‘भूल चूक माफ़’ आपके लिए एक परफेक्ट चॉइस है।

अगर आप ऐसी फिल्मों के दीवाने हैं जो दिल से निकली बातें दिल तक पहुंचाती हैं, तो ‘भूल चूक माफ़’ आपके लिए एक परफेक्ट चॉइस है। बिना ज़ोर-शोर, बिना भारीभरकम डायलॉग्स के ये फिल्म रिश्तों, माफ़ी और जिंदगी की सादगी को इतनी खूबसूरती से दिखाती है कि हर सीन कहीं न कहीं आपकी अपनी कहानी सा लगता है। करण शर्मा की इस फिल्म में बनारस की गलियों का देसीपन, आम जिंदगी की उलझनें और दिल को छूने वाले पलों का ऐसा मेल है, जो देखकर चेहरे पर मुस्कान और मन में सुकून छोड़ जाता है।

फिल्म की झलक:

अगर आपको ऐसी फिल्में पसंद हैं जो ज़ोरदार डायलॉग या भारी ड्रामा नहीं, बल्कि दिल से कहानियां सुनाती हैं—तो ‘भूल चूक माफ़’ आपके दिल को ज़रूर छुएगी। बनारस की गलियों की पृष्ठभूमि में बसी इस फिल्म में रिश्तों की मिठास, गलतियों की गुंजाइश और माफ़ी की खूबसूरती को बेहद सादगी से दिखाया गया है। करण शर्मा की लेखनी और निर्देशन इसे खास बना देते हैं।

किरदारों की दुनिया:

राजकुमार राव ने फिर से साबित किया है कि वह सिंपल किरदारों में भी असाधारण गहराई ला सकते हैं। रंजन के रूप में वह हमारे जैसे आम इंसान ही लगते हैं—जो जिम्मेदारियों और ख्वाहिशों के बीच झूल रहा है। वामिका गब्बी अपने पहले कॉमिक रोल में पूरी तरह जंचीं। उनके चेहरे की मासूमियत और डायलॉग डिलीवरी दिल जीत लेती है। सीमा पाहवा, संजय मिश्रा और रघुबीर यादव जैसे अनुभवी कलाकारों ने कहानी में जान भर दी है।

भावनाओं की परतें:

फिल्म में कोई बड़ा सस्पेंस नहीं, न ही हंगामेदार मोड़—लेकिन यही इसकी खासियत है। ये फिल्म रिश्तों की उन छोटी-छोटी बातों पर रोशनी डालती है जिन्हें हम रोज़मर्रा में नज़रअंदाज़ कर देते हैं। किसी अपने से माफ़ी मांगने की झिझक, दूसरा मौका देने का साहस और भावनाओं की परिपक्वता इस फिल्म की आत्मा हैं।

म्यूजिक और तकनीक:

'टिंग लिंग सजना' और 'चोर बाज़ारी फिर से' जैसे गाने फिल्म की आत्मा को और मज़बूत बनाते हैं। बनारस की खुशबू और देसीपन इन गानों में झलकता है। सिनेमैटोग्राफी खासतौर पर शहर की गलियों और घरों को बड़े प्यार से कैद करती है। एडिटिंग टाइट है और बैकग्राउंड स्कोर इमोशन्स को अच्छे से उठाता है।

 राय:

‘भूल चूक माफ़’ एक बेहद सच्ची, सिंपल और दिल को छू लेने वाली फिल्म है। यह आपको मुस्कुराने, कुछ सोचने और रिश्तों को फिर से महसूस करने पर मजबूर करती है। करण शर्मा की ये फिल्म एक फैमिली एंटरटेनर है, जिसमें सच्चाई, अपनापन और उम्मीद की रौशनी है। गर्मी की छुट्टियों में कुछ हल्का और दिल से जुड़ा देखना हो, तो ये फिल्म ज़रूर देखिए।

मैडॉक पिक्चर्स के बैनर तले शारदा कार्की जलोटा के साथ प्रोड्यूसर दिनेश विजन की ये पेशकश और करण शर्मा का संवेदनशील निर्देशन इस फिल्म को खास बनाते हैं। ‘भूल चूक माफ़’ उन चुनिंदा फिल्मों में से है जो शोर नहीं मचाती, मगर अपना असर जरूर छोड़ जाती है और वो भी बार-बार।

राइटर/डायरेक्टर - करण शर्मा

कास्ट - राजकुमार राव, वामिका गब्बी, सीमा पाहवा, संजय मिश्रा, ज़ाकिर हुसैन, रघुबीर यादव

ड्यूरेशन - 121 मिनट

रेटिंग - 3.5/5

Visit Prabhasakshi for Latest Entertainment News in Hindi Bollywood

We're now on WhatsApp. Click to join.
All the updates here:

अन्य न्यूज़