अमेरिका कैपिटल हमला: सदन ने विशेष जांच समिति के गठन की मंजूरी दी

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यूएस कैपिटल (अमेरिकी संसद भवन) पर इस वर्ष छह जनवरी को हिंसक भीड़ के हमले की नई जांच शुरू होगी, सदन ने विशेष समिति को उस घटना की जांच करने की मंजूरी दे दी और इस दौरान वे पुलिस अधिकारी सदन में मौजूद थे जो पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के समर्थकों से झड़प में घायल हो गए थे।

वाशिंगटन। यूएस कैपिटल (अमेरिकी संसद भवन) पर इस वर्ष छह जनवरी को हिंसक भीड़ के हमले की नई जांच शुरू होगी, सदन ने विशेष समिति को उस घटना की जांच करने की मंजूरी दे दी और इस दौरान वे पुलिस अधिकारी सदन में मौजूद थे जो पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के समर्थकों से झड़प में घायल हो गए थे। समिति के गठन की मंजूरी 190 के मुकाबले 222 मतों से दी गई। रिपब्लिकन पार्टी के दो सदस्यों को छोड़कर बाकी सभी ने इस बात पर आपत्ति जताई कि समिति के अधिकतर सदस्य डेमोक्रेटिक पार्टी से होंगे।

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इससे पहले सीनेट में रिपब्लिकन सदस्यों ने स्वतंत्र आयोग के गठन को रोक दिया था। मतदान से पहले सदन की अध्यक्ष डेमोक्रट नैंसी पेलोसी ने सांसदों से कहा कि वह चाहती थीं कि इस मामले की जांच एक स्वतंत्र समिति करे लेकिन कांग्रेस 200 साल से भी अधिक समय में कैपिटल पर हुए हमले की गहराई से जांच के लिए और इंतजार नहीं कर सकती। मतविभाजन के वक्त दंगाईयों से निबटने वाले अनेक पुलिस अधिकारी मौजूद थे, यहां उस हमले में जान गंवाने वाले एक पुलिस अधिकार के परिजन भी थे। वाशिंगटन के मट्रोपोलिटन पुलिस के अधिकारी माइकल फानोन ने रिपलब्लिकन सदस्यों द्वारा मामले की जांच के खिलाफ मतदान करने पर नाराजगी जताई। समिति बनाने के पक्ष में केवल दो रिपब्लिकन सदस्यों ने मतदान किया जिनमें से एक हैं लिज छेने जिन्होंने ट्रंप की आलोचना करने पर जीओपी के नेतृत्व में अपना स्थान खो दिया था।

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सदन में रिपब्लिकन पार्टी के नेता केविन मैक्कर्थी ने कहा कि समिति की अगुवाई डेमोक्रेट सदस्य करेंगे क्योंकि इसके अध्यक्ष एवं 13 में से कम से कम आठ सदस्यों की नियुक्ति पेलोसी करेंगी। उल्लेखनीय है कि यूएस कैपिटल में हजारों ट्रंप समर्थकों ने कैपिटल बिल्डिंग में घुसकर संसद के संयुक्त सत्र को बाधित करने की कोशिश की थी। संवैधानिक प्रक्रिया के तहत संयुक्त सत्र में नवनिर्वाचित राष्ट्रपति जो बाइडन की जीत की पुष्टि होनी थी। इससे पहले, ट्रंप ने छह जनवरी की रैली में अपने समर्थकों से ‘‘लड़ने’’ का आह्वान किया था।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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