सीरो सर्वे में हुआ खुलासा, भुवनेश्वर की 50 फीसदी आबादी में कोरोना एंटीबॉडी हुई विकसित
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आरएमआरसी की निदेशक डॉ. संघमित्रा पति ने बताया कि भुवनेश्वर नगर निगम क्षेत्र के 25 वार्ड में यादृच्छ पद्धति से 1,403 नमूनों को एकत्र किया गया
भुवनेश्वर। कोविड-19 महामारी के बीच राहत भरी खबर देते हुए क्षेत्रीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान केंद्र (आरएमआरसी) ने शुक्रवार को यहां घोषणा की कि सीरो सर्वेक्षण में पाया गया है कि भुवनेश्वर की 50 प्रतिशत आबादी में इस संक्रामक बीमारी के लड़ने के लिए एंटीबॉडी विकसित हो गई है।
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उल्लेखनीय है कि सीरो सर्वेक्षण में समुदाय के स्तर पर कोविड-19 के प्रसार का आकलन करने के लिए नमूनों का संग्रह कर जांच की जाती है। एंटीबॉडी वायरस के खिलाफ लड़ने की क्षमता के संकेतक के तौर पर काम करता है। भुवनेश्वर स्थित आरएमआरसी की निदेशक डॉ. संघमित्रा पति ने बताया, ‘‘भुवनेश्वर नगर निगम क्षेत्र के 25 वार्ड में यादृच्छ पद्धति से 1,403 नमूनों को एकत्र किया गया और उनकी जांच में पाया गया कि 50 प्रतिशत लोग कोरोना वायरस से संक्रमित हुए थे और उनके शरीर में इससे लड़ने के लिए एंटीबॉडी विकसित हो चुकी है।’’
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उल्लेखनीय है कि आरएमआरसी भारतीय आयुर्विज्ञान अनुंसधान परिषद (आईसीएमआर) का स्थायी अनुसंधान केंद्र है। हालांकि, राज्य की राजधानी में रहने वाली 11 लाख आबादी के शेष 50 प्रतिशत हिस्से को संक्रमण का खतरा है और इसलिए ढील नहीं बरती जानी चाहिए। मास्क पहनने, हाथ धोने और सामाजिक दूरी सहित सभी कोविड-19 नियमों का अनुपालन किया जाना चाहिए।
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