जम्मू कश्मीर के 21 अलग-अलग धर्मगुरुओं से मिले सेना प्रमुख बिपिन रावत
जनरल रावत ने कहा कि धार्मिक गुरुओं को बताना चाहिए कि उन्हें अपने क्षेत्र के विकास के लिए किस चीज की आवश्यकता है ताकि इसे केंद्र के पास भेजा जा सके।
नयी दिल्ली। सेना प्रमुख जनरल बिपिन रावत ने मंगलवार को जम्मू कश्मीर के रियासी और राजौरी इलाकों के विभिन्न धर्मों के उपदेशकों से बातचीत की और उन्हें क्षेत्र के विकास के लिए पूरा सहयोग देने का आश्वासन दिया। पुजारियों, मौलवियों और ग्रंथियों के साथ बातचीत के दौरान रावत ने उनसे क्षेत्र में शांति बनाए रखने की ओर काम करने का आह्वान किया और उनकी जरूरतों को पूरा करने में सहयोग देने का वादा किया।
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जनरल रावत ने कहा कि धार्मिक गुरुओं को बताना चाहिए कि उन्हें अपने क्षेत्र के विकास के लिए किस चीज की आवश्यकता है ताकि इसे केंद्र के पास भेजा जा सके। सेना प्रमुख ने कहा कि अब जम्मू कश्मीर केंद्र शासित प्रदेश है तो उनके द्वारा सुझाये काम की निगरानी करना आसान होगा। उन्होंने बताया कि यह समूह दर्शाता है कि जम्मू कश्मीर में अलग-अलग धर्म के लोग कैसे सौहार्द्रता के साथ रहते हैं।
इस समूह में 15 मौलवी, चार पंडित और दो ग्रंथी शामिल थे जिन्होंने रोजगार तथा पर्यटन को प्राथमिकता देने की मांग की। जनरल रावत ने कहा कि सशस्त्र सेनाओं में युवाओं की भर्ती के लिए क्षेत्र में रोजगार रैली आयोजित करने जैसे कदम उठाए जाएंगे। यह समूह ‘ऑपरेशन सद्भावना’ के तौर पर उत्तर भारत की यात्रा पर है।
#IndianArmy strengthens the idea of India & lives by the National values. General Bipin Rawat #COAS interacted with group of multi- religion religious #teachers from Reasi and Rajouri. Awaam thinks only way and has only one idea - 'Nation First'. #NationFirst pic.twitter.com/kSZ68Oay2k
— ADG PI - INDIAN ARMY (@adgpi) November 5, 2019
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