विवाह पंजीकरण प्रमाण पत्र नहीं मिलने पर मोहसिन रजा ने दोबारा किया आवेदन
रजा ने कहा कि हम विवाह पंजीकरण प्रमाणपत्र 90 दिन में नहीं ले सके, जिसकी वजह से यह निरस्त हो गया। मंत्री ने बताया कि आज पुन: उन्होंने हलफनामा दाखिल किया।
लखनऊ। उत्तर प्रदेश सरकार के एकमात्र मुस्लिम मंत्री मोहसिन रजा ने आज अपने विवाह पंजीकरण के लिए फिर से आवेदन किया। उन्होंने पूर्व में भी आवेदन किया था लेकिन 90 दिन की निर्धारित समयसीमा में प्रमाणपत्र हासिल नहीं कर सके। रजा ने कहा कि हम विवाह पंजीकरण प्रमाणपत्र 90 दिन में नहीं ले सके, जिसकी वजह से यह निरस्त हो गया। मंत्री ने बताया कि आज पुन: उन्होंने हलफनामा दाखिल किया।
उन्होंने कहा कि नियम के तहत पति पत्नी दोनों को प्रमाणपत्र लेने के लिए अदालत में उपस्थित होना पड़ता है। रजा ने कहा कि आम तौर पर मोहर्रम के दौरान मातम होता है इसलिए कोई शुभ कार्य नहीं किया जाता। उन्होंने इन खबरों को खारिज किया कि उनका विवाह पंजीकरण रद्द हो गया है। अपर जिलाधिकारी (ट्रांस गोमती) अनिल कुमार ने कहा कि मंत्री को फोन पर 'रिमाइंडर' दिये गये लेकिन वह 90 दिन की निर्धारित समयावधि में प्रमाणपत्र नहीं हासिल कर सके।
रजा ने इस साल तीन अगस्त को विवाह पंजीकरण के लिए आवेदन किया था। योगी आदित्यनाथ सरकार ने सभी धर्मों के विवाहों का पंजीकरण अनिवार्य किया है, जिसके बाद रजा ने उक्त आवेदन किया था। अपनी पत्नी फौजिया सरवर फातिमा के साथ रजा जिलाधिकारी कार्यालय पहुंचे थे और अपने विवाह पंजीकरण का आवेदन किया था। कुछ मुस्लिम संगठनों ने योगी कैबिनेट के फैसले का विरोध किया था। उनकी दलील थी कि मुसलमानों में निकाहनामा ही विवाह का पंजीकरण होता है।
आल इंडिया मुस्लिम महिला पर्सनल ला बोर्ड की अध्यक्ष शाइस्ता अंबर ने हालांकि कहा था कि इस कदम से ना सिर्फ धोखाधडी के मामले कम होंगे बल्कि लोगों की सामाजिक सुरक्षा भी बढेगी। आल इंडिया मुस्लिम पर्सनल ला बोर्ड ने भी इस फैसले का समर्थन किया था।
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