मणिपुर हमले में PLA के दो खूंखार उग्रवादी गिरफ्तार, सुरक्षा बलों को बड़ी सफलता

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Manipur Police @manipur_police
रेनू तिवारी । Sep 27 2025 10:43AM

मणिपुर में असम राइफल्स के काफिले पर 19 सितंबर को हुए घातक हमले के मामले में पुलिस को बड़ी सफलता मिली है। इस घातक हमले में दो जवान शहीद हुए थे। पुलिस ने प्रतिबंधित संगठन पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (PLA) के दो संदिग्ध उग्रवादियों, थोंग्राम सदानंद सिंह और चोंगथम महेश को गिरफ्तार किया है, जो इस वारदात में कथित तौर पर शामिल थे।

सुरक्षा बलों ने मणिपुर में 19 सितंबर को असम राइफल्स के काफिले पर हुए हमले में शामिल प्रतिबंधित पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (PLA) के दो सदस्यों को गिरफ्तार किया है। बिष्णुपुर जिले में हुए इस हमले में दो जवान शहीद हुए थे। गिरफ्तार किए गए लोगों में थोंग्राम सदानंद सिंह और चोंगथम महेश शामिल हैं, जो उग्रवादी गतिविधियों में लिप्त थे।

मणिपुर हमले में PLA के दो खूंखार उग्रवादी गिरफ्तार 

पुलिस ने शनिवार को यह जानकारी दी। इस हमले में दो जवान शहीद हो गए थे। पुलिस ने एक बयान में कहा, ‘‘ पीपुल्स लिबरेशन आर्मी के दो सदस्यों को गिरफ्तार किया गया है, जो 19 सितंबर को बिष्णुपुर जिले के नाम्बोल सबल लेइकाई में 33 असम राइफल्स पर हुए हमले में शामिल थे।’’

 सुरक्षा बलों को बड़ी सफलता

दोनों उग्रवादियों में से एक को असम के गुवाहाटी से पकड़ा गया, लेकिन पुलिस ने उस स्थान का खुलासा नहीं किया जहां दूसरे को गिरफ्तार किया गया। अर्धसैनिक बल के एक वाहन पर 19 सितंबर को हथियारबंद लोगों के एक समूह ने घात लगाकर हमला किया था, जिसमें असम राइफल्स के दो जवान शहीद हो गए थे और पांच अन्य घायल हुए थे। पुलिस ने बताया कि गिरफ्तार किए गए लोगों की पहचान ‘‘थोंग्राम सदानंद सिंह उर्फ ​​नगाचिक उर्फ ​​पुरकपा (18) और स्वयंभू लेफ्टिनेंट कॉर्पल चोंगथम महेश उर्फ ​​मोमो उर्फ ​​अमो सिंह (51)’’ के रूप में हुई है।

बयान में कहा गया है कि चोंगथम की पहचान "प्रतिबंधित संगठन पीएलए के एक अत्यंत वरिष्ठ कैडर के रूप में हुई है, जो 1990 से इस संगठन से जुड़ा हुआ है" और उसे "गुवाहाटी, असम के क्राइम ब्रांच पुलिस स्टेशन की सहायता से गुवाहाटी, असम से गिरफ्तार किया गया है"।

मई 2023 से मैतेई और कुकी-ज़ो समूहों के बीच जातीय हिंसा में 260 से ज़्यादा लोग मारे गए हैं और हज़ारों लोग बेघर हो गए हैं। मुख्यमंत्री एन. बीरेन सिंह के इस्तीफ़े के बाद केंद्र ने मणिपुर में राष्ट्रपति शासन लगा दिया था। राज्य विधानसभा, जिसका कार्यकाल 2027 तक है, को निलंबित कर दिया गया है। 

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