केंद्रीय मंत्री अश्विनी कुमार चौबे बिहार सरकार के खिलाफ ‘‘मौन उपवास’’ शुरू करेंगे

Ashwini Kumar Choubey
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पटना में पत्रकारों से बात करते हुए केंद्रीय मंत्री ने आरोप लगाया, ‘‘बीते हफ्ते बक्सर के चौसा में जिस तरह सुरक्षाबलों ने किसानों को बेरहमी से पीटा, उसने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के अमानवीय, किसान विरोधी और गरीब विरोधी चेहरे को बेनकाब कर दिया है।’’

केंद्रीय मंत्री एवं भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता अश्विनी कुमार चौबे ने सोमवार को कहा कि वह नीतीश कुमार के नेतृत्व वाली बिहार सरकार की कथित किसान और गरीब विरोधी नीतियों के खिलाफ ‘‘मौन उपवास’’ शुरू करेंगे। पटना में पत्रकारों से बात करते हुए केंद्रीय मंत्री ने आरोप लगाया, ‘‘बीते हफ्ते बक्सर के चौसा में जिस तरह सुरक्षाबलों ने किसानों को बेरहमी से पीटा, उसने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के अमानवीय, किसान विरोधी और गरीब विरोधी चेहरे को बेनकाब कर दिया है।’’

उन्होंने आरोप लगाया ,‘‘ यह घटना मुख्यमंत्री द्वारा 1300 मेगावाट बिजली पैदा करने की क्षमता वाले थर्मल पावर प्लांट के काम को पूरा करने में बाधा उत्पन्न करने का जानबूझकर किया गया प्रयास था। चूंकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा जून के महीने में बिजली संयंत्र का उद्घाटन किए जाने की उम्मीद है इसलिए मुख्यमंत्री यह सुनिश्चित करने के लिए अपने स्तर पर पूरी कोशिश कर रहे हैं कि संयंत्र का काम समय पर पूरा न हो।’’

उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री स्वयं प्रदेश के लोगों के लिए ‘‘समस्या कुमार’’ है पर वे अपनी समाधान यात्रा में व्यस्त हैं। चौबे ने कहा, ‘‘मैंने राज्य में मुख्यमंत्री और महागठबंधन सरकार की नीतियों के खिलाफ पश्चिम चंपारण से 30 जनवरी (महात्मा गांधी की पुण्यतिथि) से ‘‘मौन उपवास’’ अभियान शुरू करने का फैसला किया है। मैं अपने अभियान की शुरुआत पश्चिम चंपारण जिले से करूंगा क्योंकि यही वह जगह है जहां से नीतीश ने पांच जनवरी को अपनी समाधान यात्रा शुरू की थी। मैं उन सभी जिलों में ‘‘मौन उपवास’’ पर बैठूंगा जहां नीतीश अपनी समाधान यात्रा के दौरान जा रहे हैं’’।

उन्होंने कहा,‘‘ मेरे इस अभियान का उद्देश्य राज्य सरकार की जनविरोधी नीतियों के बारे में जनता के बीच जागरूकता पैदा करना है।’’ गौरतलब है कि बक्सर जिले में चौसा में थर्मल पावर प्लांट स्थापित करने के लिए अधिग्रहित भूमि के बदले में मुआवजे की मांग कर रहे किसानों के साथ 11 जनवरी को हुई झड़प में दस पुलिसकर्मी घायल हो गए थे।

इस बीच बक्सर में अपनी जमीन के उचित मूल्य और मुआवजे की मांग को लेकर कई दिनों से अनशन पर बैठे भाजपा नेता परशुरामन चतुर्वेदी के निधन पर शोक जताते हुए मीडियाकर्मियों से बातचीत के दौरान चौबे ने कहा, ‘‘पटना में मीडिया से बातचीत के दौरान मुझे चतुर्वेदी के निधन का दुखद समाचार मिला। उनकी हृदय घात से मौत हो गयी है।’’ चतुर्वेदी बक्सर में किसानों की मांग के लिए आक्रोश यात्रा में शामिल थे। इससे पहले केंद्रीय मंत्री रविवार शाम एक सड़क हादसे में बाल-बाल बचे थे जिसमें पांच पुलिसकर्मी घायल हो गये थे। उन्होंने आरोप लगाया, ‘‘मुझे राज्य प्रायोजित गुंडों द्वारा निशाना बनाया जा रहा है। बक्सर में जब मैं किसानों पर पुलिसकर्मियों के हमले के खिलाफ अनशन पर बैठा था तब मुझ पर हमले के दो प्रयास किए गए थे।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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