अमेजन प्राइम पर गुलाबो-सिताबो का प्रिमियर, रिलीज के बाद सामने आया अमिताभ बच्चन का बयान

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रेनू तिवारी । Jun 12 2020 4:46PM

अभिनेता अमिताभ बच्चन का कहना है कि हिंदी सिनेमा का छोटे शहरों की ओर फिर से रुख करना ‘‘बहुत स्वागतयोग्य’’ चल है और यह चलन उन फिल्म निर्माताओं के कारण शुरू हुआ है जो उन स्थानों की कहानियां पर्दे पर दिखाना चाहते हैं, जहां वे पले-बढ़े हैं।

नयी दिल्ली। लंबे समय से चर्चा थी कि अमेजन प्राइम वीडियो पर अमिताभ बच्चन और आयुष्मान खुराना की फिल्म गुलाबो सिताबों रिलीज होने वाली हैं। फाइनली 12 जून को फिल्म का प्रिमियर हो गया। फिल्म को लेकर सोशल  मीडिया पर लोग अपनी-अपनी प्रतिक्रिया दे रहे हैं। गुलाबो-सिताबो बॉलीवुड की पहली फिल्म है जो सिमेनाघर में रिलीज होने वाली थी लेकिन लॉकडाउन के कारण ओटीटी पर रिलीज की गयी हैं। फिल्म की रिलीज के बाद सदी के महानायक अमिताभ बच्चन का फिल्म को लेकर बयान सामने आया हैं।

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अभिनेता अमिताभ बच्चन का कहना है कि हिंदी सिनेमा का छोटे शहरों की ओर फिर से रुख करना ‘‘बहुत स्वागतयोग्य’’ चल है और यह चलन उन फिल्म निर्माताओं के कारण शुरू हुआ है जो उन स्थानों की कहानियां पर्दे पर दिखाना चाहते हैं, जहां वे पले-बढ़े हैं। ‘अमेजॉन प्राइम’ पर शु्क्रवार को रिलीज हुई बच्चन अभिनीत फिल्म ‘गुलाबो सिताबो’ लखनऊ में फिल्माई गई है। यह पहली बड़ी फिल्म है, जिसका प्रीमियर किसी ओटीटी (ओवर-द-टॉप) मंच पर हुआ है। इस फिल्म का निर्देशन शूजित सरकार ने किया है।

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ओटीटी इंटरनेट के माध्यम से दर्शकों को सीधे पहुंचाई जाने वाली स्ट्रीमिंग मीडिया सेवा है। फिल्म की कहानी बच्चन के किरदार मिर्जा और उसके किराएदार बांके (आयुष्मान खुराना) के बीच चूहे-बिल्ली की लड़ाई के इर्द-गिर्द घूमती है। हालिया वर्षों में हिंदी फिल्मों के छोटे शहरों की ओर फिर से रुख करने के संबंध में सवाल पूछे जाने पर, बच्चन ने ‘पीटीआई भाषा’ से कहा, ‘‘हां, यह स्वागतयोग्य चलन है। शहरी क्षेत्रों में रह रहे और वहां काम कर रहे हममें से अधिक लोग उन छोटे शहरों से आए हैं या उनसे जुड़े हुए है, जिनकी आप बात कर रहे हैं।’’ अभिनेता ने ईमेल के जरिए दिए साक्षात्कार में कहा, ‘‘इसलिए इन छोटे शहरों में बड़े होने के दौरान के शुरुआती वर्षों को पुन: जीने से कई लोगों, निर्माताओं और सिनेप्रेमियों की यादें ताजी हो जाती हैं।’’

77 वर्षीय बच्चन ने कहा कि वह उन्हें दी गई भूमिकाओं को लेकर अपने निर्देशकों से सवाल नहीं करते और इसीलिए उन्होंने ‘‘गुलाबो सिताबो’’ में मिर्जा की भूमिका को लेकर शूजित सरकार से सवाल नहीं किए। बच्चन और सरकार ‘शूबाइट’, ‘पीकू’ और ‘पिंक’ जैसी फिल्मों में भी साथ काम कर चुके हैं। ‘शूबाइट’ अभी रिलीज नहीं हुई है। बच्चन ने कहा कि लखनऊ में शूटिंग के दौरान प्राधिकारियों और लोगों ने पूरा सहयोग दिया, जो उनके लिए सुखद अनुभव रहा।

‘गुलाबो-सिताबो’ के किरदार के मेकअप के लिए चार से पांच घंटे तक बैठे रहने के बारे में बच्चन ने कहा, ‘‘यह मुश्किल था। इसमें बहुत समय लगता था। हर दिन चार-पांच घंटे मेकअप में लगते थे। मई की गर्मी ने इसे और कठिन बना दिया, लेकिन अंतत: सबसे दक्ष मेकअप कलाकारों के विशेषज्ञ हाथों के जरिए जो अंत परिणाम निकला, वह मिसाल पेश करने वाला है।

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